कांग्रेस महासचिव मोहनप्रकाश को अवमानना नोटिस
जबलपुरPublished: Sep 18, 2015 11:21:00 pm
व्यापमं घोटाले में मप्र हाईकोर्ट की भूमिका पर उठाए थे सवाल, तीसरी है याचिका
जबलपुर। उच्च न्यायालय ने कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव मोहनप्रकाश को अवमानना का नोटिस जारी किया है। मोहनप्रकाश ने व्यापमं जांच मामले में हाईकोर्ट की भूमिका पर सवाल खड़े किए थे। उनकी इस बयानबाजी के संबंध में तीसरी अवमानना याचिका दायर की गई है। इस बार मामले को कानूनी रूप से अधिक मजबूती देने के लिए राज्य के महाधिवक्ता रवीश अग्रवाल से अनुमति ली गई है। जस्टिस राजेंद्र मेनन व जस्टिस एसके गुप्ता की खंडपीठ ने इस पर सुनवाई करते हुए मोहनप्रकाश व एक अंग्रेजी अखबार के स्थानीय संपादक को नोटिस जारी कर 4 सप्ताह के अंदर अपना पक्ष पेश करने के निर्देश दिए हैं।
यह है मामला
जबलपुर के अनवर हुसैन की याचिका में कहा गया है कि गत जुलाई में अपने मध्यप्रदेश प्रवास के दौरान कांग्रेस महासचिव मोहनप्रकाश ने एक पत्रकार वार्ता को संबोधित करते हुए बहुचर्चित व्यापमं घोटाले की जांच सुप्रीम कोर्ट के निर्देशन में सीबीआई से कराने की मांग की थी। मोहनप्रकाश ने तथाकथित रूप से घोटाले की जांच की मॉनीटरिंग कर रही मप्र हाईकोर्ट की भूमिका पर भी सवाल उठाते हुए इस संबंध में भी सीबीआई से जांच कराने की मांग की थी। भोपाल से प्रकाशित होने वाले एक अंगे्रजी दैनिक समाचार पत्र ने 7 जुलाई के अंक में इस समाचार को प्रमुखता से प्रकाशित किया।
गरिमा को ठेस
याचिकाकर्ता की ओर से अधिवक्ता अजय रायजादा ने कोर्ट को बताया कि कंटेम्प्ट ऑफ कोर्ट एक्ट 1971 की धारा 2 सी (1 ) (2) के तहत इस तरह की बयानबाजी न्यायपालिका की अवमानना के दायरे में आती है। उन्होंने कहा कि इस समाचार के प्रकाशन से न केवल न्यायपालिका की गरिमा को ठेस पहुंची, बल्कि राज्य में न्याय प्रशासन में बाधा पहुंचाने का प्रयास किया गया। उन्होंने इसे अवैधानिक करार देते हुए अनावेदकों के खिलाफ संज्ञान लेकर हाईकोर्ट की अवमानना की कार्रवाई किए जाने की मांग की। प्रारंभिक सुनवाई के बाद कोर्ट ने कहा कि प्रथम दृष्ट्या याचिकाकर्ता की दलील तथ्यपरक है। सुनवाई के बाद कोर्ट ने याचिका में अनावेदक बनाए गए कांग्रेस महासचिव मोहनप्रकाश व अंग्रेजी अखबार के भोपाल स्थानीय संपादक को नोटिस जारी करने के निर्देश दिए। इसके पूर्व इसी संबंध में दो अन्य अवमानना याचिकाएं जबलपुर के अधिवक्ता अनिल सोनी व संजय सेठ ने दायर की हैं।