मप्र नाट्य विद्यालय अध्ययन
अनुदान योजना के अंतर्गत विवेचना रंगमंडल के कलाकारों ने जानकीरमण महाविद्यालय में ‘पोस्टरÓ नाटक का मंचन किया। नाट्य लोक संस्था के सहयोग से आयोजित इस नाटक में युवाओं ने अभिनय किया। अपने हक और समाज में चल रहे भय के माहौल को समाप्त कर आगे बढऩे की सीख नाटक से मिली। शंकर शेष द्वारा लिखित नाटक का निर्देशन पूजा केवट ने किया। हक के लिए किस तरह संघर्ष करना चाहिए यह नाटक से सीख मिली। कलाकारों ने अपने अभियन से नाटक को जीवंत कर दिया। नाटक को देखकर उपस्थित जनता ने खूब तालियां बजाई। नाटक ने यह संदेश दिया कि अपने हक के लिए आवाज उठाते रहना चाहिए। किसी भी परिस्थति में अपना आत्मविश्वास नहीं खोना चाहिए। मनुष्य सभी कुछ कर सकता है। बस मन में हिम्मत होना चाहिए।
वर्तमान माहौल का चिंतन
मनुष्य क्या नहीं कर सकता है, बस जरूरत है तो मन में हिम्मत और दृढ़संकल्प की। सेवाभावना के उद्देश्यों को लेकर करने वाले कार्यो का कई दफा गलत उपयोग सभी को बदनाम करता है, बस जरूरत है अन्याय के खिलाफ एकजुट होने की। इन गंभीर बातों को युवा कलाकारों ने नाटक के जरिए समझाया। कलाकारों का अभिनय देखते ही बनता। कुछ संवादों ने खूब तालियां बटोरी।
लाजवाब अभिनय
मंच व्यवस्था दिलीप झाड़े, संगीत मुस्कान सोनी का रहा। कुणाल जग्यासी, सौरभ यादव, वासिफुद्दीन, तरुण, वरुण, विवेक चौबे, सावन सेन, नीरज विश्वकर्मा, प्रकाम सिंह, यज्ञेश श्रीवास्तव, अक्षय शिवहरे, कार्तिक रायजादा समेत अन्य ने मंच पर अभिनय किया। इस दौरान अरुण पाण्डे, सीताराम सोनी, तपन बैनर्जी, नवीन चौबे सहित अन्य सभी की उपस्थिति रही।