जबलपुर

मोखा का अस्पताल में नहीं था अधिकृत केबिन, आइडी व पासवर्ड को लेकर भी किया गुमराह

नकली रेमडेसिविर इंजेक्शन मामलादेवेश को लेकर गुजरात जाएगी एसआइटी

जबलपुरJun 11, 2021 / 03:55 pm

Lalit kostha

Bad days of Mokha, another big fraud open in the city hospital

जबलपुर। गुजरात से आए नकली रेमडेसिविर इंजेक्शन खपाने का मुख्य आरोपी सरबजीत सिंह मोखा इतना शातिर था कि वह अस्पताल का डायरेक्टर था, इसके बावजूद उसका अस्पताल में कोई अधिकृत केबिन नहीं था। उसने अस्पताल में अपनी पत्नी जसमीत और बेटे हरकरण के लिए तो कमरा बनवाया था, लेकिन खुद के लिए कोई अधिकृत ऑफिस नहीं बनवाया था। वह किसी के भी केबिन में बैठकर काम निपटाता था। इसका खुलासा एसआइटी की जांच में हुआ है।

नाम नहीं, सिर्फ सरनेम का उपयोग
मोखा के कंप्यूटर के डाटा को चैक करने के लिए जब पुलिस ने उससे उसका आइडी पासवर्ड मांगा, तो उसने पुलिस को गुमराह किया। जब अस्पताल के स्टाफ से पूछताछ की गई, तो पता चला कि सरबजीत सिंह मोखा के सिस्टम की आइडी उसके नाम से नहीं, उसके सरनेम से थी। दोबारा मोखा से पूछताछ की, तो उसने आइडी पासवर्ड बताया। जानकारी के अनुसार सरबजी सिंह ने केवल मोखा नाम से आइडी बनाई थी।

 

आइसीयू को भी दोबारा खंगाला
अस्पताल के जिस आइसीयू में मोखा भर्ती था, उस वार्ड को भी एसआइटी ने दोबारा खंगाला। जानकारों का यह भी कहना है कि अस्पताल में मोखा ने अपने एडमिट होने के लिए अलग से कमरा बनवाकर रखा था।

देवेश को लेकर जाएगी एसआइटी
एसआइटी की टीम शनिवार को जेल में बंद सिटी अस्पताल के फार्मासिस्ट देवेश चौरसिया को लेकर गुजरात रवाना होगी। वहां उसे न्यायालय में पेश किया जाएगा। जिसके बाद गुजरात के मोरबी जिले के बी डिवीजन थाने की पुलिस देवेश को पुलिस रिमांड पर लेगी। इसके साथ ही वहां जाने वाली टीम भगवती फार्मा के संचालक सपन जैन, नकली रेमडेसिविर इंजेक्शन की डिलेवरी देने वाले रीवा निवासी सुनील मिश्रा और नकली रेमडेसिविर इंजेक्शन की फैक्ट्री संचालक कौशल वोरा को रिमांड जबलपुर लाएगी।

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