आते ही दगा दे गया मानसून, अब नए सिस्टम से झमाझम की आस
जबलपुरPublished: Jun 17, 2020 07:43:33 pm
मानसूनी बादलों की खेप आयी लेकिन नहीं हुई बारिश, उमस ने परेशान किया, हवा का साथ नहीं मिलने से बरस नहीं रहे बदरा, अब नए सिस्टम से झमाझमा का इंतजार
More monsoon rains in June, rainfall figures lagging behind in July
जबलपुर. शहर में दक्षिणी पश्चिमी मानसून के प्रवेश के साथ काले बादलों की खेप आयीं। दो से तीन दिन से आसमान में बादल छाए हुए है। सुबह-शाम काले बादल उमड़-घुमड़ रहे है। लेकिन बूंदाबांदी का क्रम बढऩे की बजाय उमस और गर्मी बढ़ रही है। मौसम वैज्ञानिकों की मानें तो अभी तक बूंदाबांदी करते आया सिस्टम शहर पहुंचने तक कमजोर पड़ गया है। काले बादल बने हुए तो है लेकिन हवा का साथ नहीं मिलने से बरस नहीं रहे है। बुधवार को सुबह कुछ देर के लिए धूप खिली। इससे उमस बढ़ गई। सुबह के समय पारे में भी उछाल आया। दोपहर बाद आसपास से नमी भरी हवा आयी। हवा की गति बढऩे से उमस और चिपचिपी गर्मी से कुछ राहत रही।
अधारताल स्थित मौसम विज्ञान केन्द्र के अनुसार बुधवार को करीब तीन डिग्री की गिरावट के साथ अधिकतम तापमान 33.9 डिग्री सेल्सियस था। यह सामान्य से चार डिग्री कम बना रहा। न्यूनतम तापमान में करीब दो डिग्री की वृद्धि दर्ज की गई। यह 26 डिग्री सेल्सियस रेकॉर्ड किया गया। सामान्य के बराबर बना रहा। आद्र्रता सुबह के समय 72 प्रतिशत और शाम को 54 प्रतिशत था। दक्षिण पश्चिमी हवा पांच किलोमीटर प्रतिघंटा की गति से चली।
मौसम वैज्ञानिकों के अनुसार अरब सागर से बने सिस्टम का प्रभाव कम हो गया है। बंगाल की खाड़ी में निर्मित कम दबाव के क्षेत्र से प्रदेश में सक्रिय मानसूनी सिस्टम उत्तर प्रदेश की ओर खिसक गया है। अभी कोई सिस्टम सक्रिय नहीं है जिससे झमाझम बारिश हो। लोकल सिस्टम के कारण बादल बन रहे है। बंगाल की खाड़ी में शुक्रवार को एक सिस्टम बनने की सम्भावना है। इसके जरिए मानसूनी बादलों को गति मिलेगी। अच्छी बारिश और गर्मी से राहत के लिए लोगों को अभी एक-दो दिन की प्रतीक्षा करना होगा।