यह है मामला
मप्र राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण व हाईकोर्ट विधिक सेवा समिति के संयोजन में 14 सितंबर को हाईकोर्ट की जबलपुर मुख्यपीठ में आयोजित नेशनल लोक के दौरान कोर्ट ने यह फैसला दिया। हाईकोर्ट विधिक सेवा समिति के सदस्य सचिव राजीव कर्महे ने बताया कि रीवा जिले के सेमरिया निवासी रोशनलाल शुक्ला का जमीन के संबंध में वहीं के निवासी रामायण शुक्ला व अन्य के साथ विवाद चल रहा था। इसी सिलसिले में रीवा जिला अदालत ने उसके खिलाफ 2001 में आदेश जारी कर दिया। इसके खिलाफ रोशनलाल ने हाईकोर्ट में अपील दायर की। केस लंबित रहने के दौरान उसका देहांत हो गया। इस पर रोशनलाल के उत्तराधिकारीगण रविशंकर, उमाशंकर, नागेंद्र इस केस को आगे लड़ रहे थे। इसी बीच आवेदकपक्ष की ओर से एक सुनवाई के दौरान कोई भी हाजिर नहीं हुआ। इस वजह से कोर्ट ने अपील खारिज कर दी। अनुपस्थिति के लिए क्षमायाचना करते हुए इसी अपील को पुनस्र्थापित करने के आग्रह के साथ यह सिविल प्रकरण दायर किया गया था। 14 सितंबर 2019 को हुई लोक अदालत के दौरान कोर्ट ने सभी पक्षकारों को समझाकर समझौता करा दिया। कोर्ट ने सभी पक्षकारों को निर्देश दिए कि वे 10-10 पेड़ लगाएं। बड़ा होते तक उनकी देखरेख करें।