क्या है वेबकॉस्टिंग
दरअसर वेबकॉस्टिंग एक तरह की सेंट्रलाइज्ड मॉनीटरिंग सिस्टम है। इस व्यवस्था को चुनाव के दौरान उपयोग में लाया जाता है। बोर्ड परीक्षा में बनाए गए परीक्षा केंद्रो में से एसे संवेदनशील परीक्षा केंद्रो को चिन्हित किया जाता है। इन केंद्रों को आपस में सीसीटीवी से कनेक्ट कर सेंट्रलाइज्ड मॉनीटरिंग सिस्टम के माध्यम से एक जगह बैठकर सभी केंद्रों में नजर रखी जा सकती है। जिले में एसे करीब 14परीक्षा केंद्र संवेदनशील केंद्र जिले में है।
8 से 10 लाख का खर्च
जानाकारों के अनुसार जबलपुर, पाटन, सिहोरा, मझौली आदि क्षेत्रों के संवेदनशील परीक्षा केंद्रों में वेबकॉस्टिंग के लिए करीब 8 से 10 लाख रुपए का खर्च आएगा। माध्यमिक शिक्षा मंडल ने इस व्यवस्था के लिए किसी भी तरह की राशि का प्रावधान नहीं किया है। वहीं दूसरी और डीईओ कार्यालय के पास भी इसके लिए अतिरिक्त फंड नहीं है। वहीं तकनीकी व्यवस्था बीएसएनएल के माध्यम से की जानी है।
तैयारियों में जुटा विभाग
बोर्ड परीक्षा के चंद दिन शेष बचे होने को लेकर विभाग आवश्यक तैयारियों में जुट गया है। सभी केंद्राध्यक्षों को सीसीटीवी कैमरों को दुरुस्त कराने एवं जिन कमरों में नहीं लगे हैं वहां भी कैमरे लगाने के निर्देश दिए हैं। जल्द ही केंद्राध्यक्षा की एक बैठक आयोजित की जा रही है जिसमें आवश्यक दिशा निर्देश दिए जाएंगे। 2 अप्रैल तक चलेंगी परीक्षाएं हाईस्कूल कक्षा 10वीं की परीक्षा 1 मार्च से शुरू हो रही है जो कि 27 मार्च को समाप्त होगी। जबकि हायर सेकेंडरी 12 वीं कक्षा की परीक्षा 2 मार्च से शुरू होकर 2 अप्रैल को समाप्त होगी। दोनों परीक्षाओं का समय सुबह 9 बजे से12बजे निर्धारित किया गया है।
-बोर्ड परीक्षा में वेबकॉस्टिंग की व्यवस्था अधिक खर्चीली है। इसका प्रयोग एक साल ही हो सका। वहीं बजट भी नहीं आया है। सीसीटीवी कैमरे सभी केंद्रों में लगाए जा रहे हैं।
-अरविंद अग्रवाल, परीक्षा प्रभारी
फैक्ट फाइल
51,330 परीक्षार्थी बोर्ड परीक्षा में शामिल
30244 परीक्षार्थी 12वीं कक्षा में
21,086परीक्षार्थी 10वीं कक्षा में
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१० वीं की परीक्षा १ मार्च से
१२वीं की परीक्षा 2 मार्च से
110 परीक्षा केंद्र जिले में
71 केंद्र सरकारी स्कूल
14 केंद्र संवेदनशील घोषित