नक्षत्र- धु्रवसंज्ञक अधोमुख नक्षत्र उ.फाल्गुनी रात्रि 11.14 तक उपरांत लघुसंज्ञक नक्षत्र हस्त रहेगा। उ.फाल्गुनी नक्षत्र में सभी प्रकार के स्थिर कार्य सम्पन्न किए जा सकते हैं। इस नक्षत्र में विवाह, उपनयन, कृषि कार्य, पौधरोपण, बागवानी, शिल्प विद्या जैसे कार्य सम्पन्न किए जा सकतेे हैं। चातुर्मास में मंागलिक कार्य निशिद्ध माने जाते हैं।
शुभ मुहूर्त – ंआज पितर तर्पण, पिंडदान, कर्ज निपटारा, मित्र मिलन हवन, तंत्र-मंत्र साधना, दान-पुण्य, पवित्र सरिता स्नान तथा जन हितैषी कार्य हेतु दिन शुभ रहेगा।
श्रेष्ठ चौघडि़ए- आज 7.30 से 9.00 शुभ, दोपहर 1.30 से 4.30 लाभ तथा अमृत रात्रि 9.00 से 10.30 शुभ की चौघडिय़ा शुभ तथा मंगलकारी
मानी जाती है।
व्रतोत्सव- आज : स्नान दान पितर मोक्ष अमावस्या, का व्रत व्रतोत्सव पर्व रहेगा। पितर तर्पण पिंडदान शुभ रहेगा।
चन्द्रमा : प्रात: 6.20 तक सिंह राशि में उपरांत बुध प्रधान कन्या राशि में संचरण करेगा।
ग्रह राशि नक्षत्र परिवर्तन: सूर्य के कन्या राशि में गुरु वृश्चिक राशि में तथा शनि धनु राशि के साथ सभी ग्रह यथा राशि पर स्थित हैं। सूर्य का उ. फाल्गुनी नक्षत्र में संचरण रहेगा।
दिशाशूल: आज का दिशाशूल पूर्व दिशा में रहता है। इस दिशा की व्यापारिक यात्रा को यथासंभव टालना हितकर है। चंद्रमा का वास पूर्व दिशा में है। सन्मुख एवं दाहिना चंद्रमा शुभ माना जाता है।
राहुकाल: प्रात: 9.00.00 बजे से 10.30.00 बजे तक। (शुभ कार्य के लिए वर्जित)
आज जन्म लेने वाले बच्चे – आज : आज जन्मे बालकों का नामाक्षर टे, टो, पा, पी अक्षर से आरंभ कर सकते हैं। उ. फाल्गुनी नक्षत्र में जन्मे बालकों की राशि कन्या होगी। राशि स्वामी बुध तथा रजतपाद पाया में जन्म माना जाएगा। कन्या राशि के जातक प्राय: सुंदर, न्यायप्रिय, प्रसन्नचित्त, उदारमना, कलाप्रिय, गीत-संगीत में रुचि रखने वाले तथा दार्शनिक स्वभाव के होते हैं। स्वतंत्र व्यवसाय तथा पत्रकारिता के क्षेत्र में सफल होते हैं।