तीन साल में ये रहा जबलपुर का क्रम
07वां पायदान 2017
21वां पायदान 2018
47वां पायदान 2019
जबलपुर। विकास कार्यों में पिछडऩे से लेकर फं ड के खर्च में भी फिसड्डी रहने के कारण स्मार्ट सिटी रैंकिंग में जबलपुर फिसड्डी साबित हुआ। नगरीय प्रशासन की ओर से जारी देशभर के शहरों की रैंकिं ग में शहर 47वें पायदान पर है। इसका बड़ा कारण केंद्र व राज्य सरकार से प्राप्त फं ड खर्च करने में पिछडऩा और विकास के बड़े कार्यों की योजना शुरू होने में देरी को बताया जा रहा है। ताजा रैंकिं ग में नागपुर पहले पायदान पर है। भोपाल दूसरे व इंदौर 11वें पायदान पर है। स्मार्ट सिटी की रैकिं ग में जबलपुर के इतने पिछडऩे को लेकर सवालिया निशान खड़ा हो गए हैं।
इस आधार पर रैंकिंग
देश के 100 शहरों में स्मार्ट सिटी मिशन के तहत चल रही योजनाओं के क्रियान्वयन के आधार पर रैंकिंग की गई है। इसमें जारी किए टेंडर, वर्क ऑर्डर और पूरे हुए विकास कार्यों के लिए अलग-अलग अंक दिए जाते हैं। जारी फंड के इस्तेमाल के लिए भी अंक दिया जाता है। इन सभी अंकों को मिलाकर जिस शहर को जितने अंक मिलते हैं उसके आधार पर रैंकिंग निकाली जाती है।
इन प्रोजेक्ट के शुरू होने पर बढ़ेगी रैंक
400 करोड़ का नर्मदा समृद्धि कॉरिडोर प्रोजेक्ट
400 करोड़ का गारमेंट पार्क
पीपीपी मॉडल पर बड़े प्रोजेक्ट शुरू करने के लिए इंदौर व भोपाल की तरह पार्टनर नहीं मिले। इसके कारण उनकी शुरुआत में देर हुई। एबीडी एरिया में जमीन का केवल रहवासी था, मास्टर प्लान में अब उसे मिश्रित कर दिया है। इसके कारण तेजी से विकास हो सकें गे। बड़े प्रोजेक्ट्स में काम शुरू होने पर शहर की रैंकिं ग बेहतर होगी।
जीएस नागेश, अपर आयुक्त, नगर निगम, सीइओ, स्मार्ट सिटी