अधिकतर लोग आंदोलन के लिए तैयार
ग्रामीणों का कहना है कि वे जनप्रतिनिधियों से पिछले १४ साल से मांग कर रहे हैं लेकिन अब तक उनकी नही सुनी अब वे हार चुके हैं इसलिए उन्होंने आंदोलन की राह चुनी है। पीडि़त ग्रामीणों का कहना है कि वे प्रभावित सभी १०३१ परिवार के लोग बैठक कर रहे हैं। इसमें आने वाली लड़ाई को लेकर तैयारी को लेकर चर्चा चल रही है। अभी कुछ लोगों से संपर्क नहीं हो सका है लेकिन अधिकतर लोग आंदोलन के लिए तैयार है।
सरकार बदली तो उम्मीद जगी थी कि मांग पूरी होगी
आने वाले दिनों में आंदोलन की रूप रेखा पर चर्चा की जाएगी और प्लान तैयार कर आंदोलन किया जाएगा। उनका कहना है कि पिछले कई सालों से भाजपा की सरकार थी उनके नेताओं और अधिकारियों से मांग की। लेकिन उन्होंने अनसुना कर दिया। इस बार सरकार बदली तो उम्मीद जगी थी कि अब उनकी मांग पूरी होगी। लेकिन बदकिस्मती से एेसा नहीं हुआ। आज भी लोग परेशान है। इसलिए अब सभी ने आंदोलन करने का फैसला लिया है।