कोरोना संकट के बीट लॉकडाउन 5.0 के दौरान टूरिज्म को बढ़ावा देने के लिए प्रदेश भर के ऐतिहासिक स्थल और पर्यटन स्थल देशी-विदेशी पर्यटकों के लिए खोल दिए गए हैं। 2 जून से पर्यटकों के लिए खोले पर्यटन स्थलों पर देशी-विदेशी सैलानियों के आने से सरकार को भी टूरिज्म से खासी उम्मीदें हैं।
फिलहाल सरकार ने सप्ताह में चार ही दिन पर्यटकों को ऐतिहासिक स्थलों और पर्यटनों के स्थलों के भ्रमण की इजाजत दी है। इनमें मंगलवार, गुरुवार, शनिवार और रविवार का दिन शामिल हैं। बीते मंगलवार और गुरुवार की बात करें तो दो दिन में प्रदेश भर में 1433 पर्यटकों ने पर्यटन स्थलों का भ्रमण किया है।
राजधानी जयपुर में 693 और प्रदेश के अन्य जिलों में 740 पर्यटक यहां पहुंचे हैं। हालांकि इनमें अधिकांश देशी पर्यटक ही हैं। जयपुर के आमेर फोर्ट, सिटी पैलेस, अल्बर्ट हॉल म्यूजियम, नाहरगढ़ जैसे विश्व प्रसिद्ध पर्यटन स्थलों पर विदेशी पर्यटक नजर आए।
31 अक्टूबर तक पर्यटकों के लिए रहेंगे निःशुल्क
कोरोना संकट के चलते चौपट हुई अर्थ व्यवस्था को फिर से पटरी पर लाने और पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए राज्य सरकार ने लॉकडाउन 5.0 के दौरान एक जून को प्रदेश के सभी पर्यटन स्थलों और ऐतिहासिक स्थलों को भ्रमण के लिए खोल दिए थे। हालांकि पर्यटन स्थलों पर जनता को प्रवेश 2 जून से दिया गया था।
लोगों का ध्यान खींचने के लिए राज्य सरकार ने सभी ऐतिहासिक और पर्यटन स्थलों पर लगने वाले शुल्क को 31 अक्टूबर तक हटा दिया है। 31 अक्टूबर तक पर्यटक यहां निःशुल्क भ्रमण कर सकेंगे। हालांकि 1 नवंबर से पर्यटकों से आधा शुल्क लिया जाएगा।
342 पर्यटन स्थल है प्रदेश में
प्रदेश की बात करें तो यहां 342 पर्यटन स्थल हैं जिनमें से 18 म्यूजियम हैं, 342 पर्यटन स्थलों में से 32 ऐतिहासिक और पर्यटन स्थल ऐसे हैं जहां पर भ्रमण के लिए पर्यटकों को शुल्क देना पड़ता है। इनमें जयपुर के सिटी पैलेस, आमेर फोर्ट, अल्बर्ट हॉल म्यूजियम, सिसोदिया रानी का बाग भी शामिल हैं।
सोशल मीडिया के जरिए भी खींच रहे पर्यटकों का ध्यान
वहीं कोरोना संकट के बीच पर्यटकों का ध्यान खींचने के लिए पुरात्तव विभाग ने सोशल मीडिया पर एकाउंट बनाकर ऐतिहासिक धरोहरों और पर्यटन स्थलों के फोटो और वीडियो बनाकर शेयर करना शुरू कर दिया है। विभाग के लोगों की माने तो जिस तरह का रिस्पॉन्स मिल रहा है, उससे टूरिज्म को फायदा होगा।