scriptआरपार देखने वाले करामाती चश्मे का लालच पड़ा महंगा, फिर हुआ कुछ ऐसा… | 16 Crore Fraud Case in Jaipur | Patrika News

आरपार देखने वाले करामाती चश्मे का लालच पड़ा महंगा, फिर हुआ कुछ ऐसा…

locationजयपुरPublished: Mar 16, 2019 01:19:43 pm

Submitted by:

dinesh

रेडियो एक्टिव पदार्थ के साथ करामाती सुलेमानी माला, शरीर और दीवार के आर-पार देखने वाला चश्मा सहित अन्य कई दुर्लभ और कथित एंटीक वस्तुएं बेचने का झांसा दे रकम हड़प ली गई…

gogal
जयपुर।

कथित रेडियो एक्टिव पदार्थ बेचने का झांसा दे जयपुर सहित देश के विभिन्न राज्यों के व्यवसायियों से 15.94 करोड़ रुपए की ठगी के चार और मामले बनीपार्क और सांगानेर थाने में दर्ज हुए हैं। इन पीडि़तों को भी रेडियो एक्टिव पदार्थ के साथ करामाती सुलेमानी माला, शरीर और दीवार के आर-पार देखने वाला चश्मा सहित अन्य कई दुर्लभ और कथित एंटीक वस्तुएं बेचने का झांसा दे रकम हड़प ली गई।
पुलिस कमिश्नर आनंद श्रीवास्तव ने शुक्रवार को प्रेस वार्ता में इसका खुलासा किया। उन्होंने बताया कि राजधानी में इस तरह की ठगी करने वाली दो गैंग सक्रिय हैं। पहली गैंग के जयपुर निवासी सरगना सत्यनारायण आरोनिया सहित 18 लोग पहले गिरफ्तार हो चुके। इसी गैंग के एक साथी अजय सिंह को शुक्रवार को और पकड़ा गया है। जबकि दूसरी गैंग का सरगना भवानी सिंह शेखावत और विनय अग्रवाल फरार हैं। श्रीवास्तव ने बताया कि कुछ वर्ष पहले सत्यनारायण और भवानी सिंह संयुक्त रूप से काम करते थे। लेकिन बाद में दोनों ने अलग गैंग सक्रिय कर ली। सत्यनाराण की गैंग रेडियोएक्टिव पदार्थ को ‘डांसिग डॉल’ और भवानी सिंह गैंग को ‘192’ नाम दिया था। लेकिन दोनों ही रेनसेल कंपनी के साथ मिलकर ठगी का खेल चला रहे थे। उन्होंने बताया कि 100 करोड़ रुपए की ठगी के दस्तावेज पुलिस के सामने आ चुके है। बड़ी संख्या में पीडि़त आ चुके हैं। उनकी भी तस्दीक की जा रही है। दोनों ही गैंग का ठगी का तरीका एक जैसा है। पीडि़त लोगों को फार्म हाउस पर ले जाकर केमिकल से धमाका कर रेडियोएक्टिव पदार्थ होने का झांसा देते थे। भवानी ङ्क्षसह कानोता में स्थित अजय सिंह के फार्म हाउस पर कथित रेडियोएक्टिव पदार्थ की टेस्टिंग करके बताते थे। अभी तक सामने आया है कि आरोपी करीब तीन साल से ठगी का खेल चला रहे हैं।
ठगी की राशि से आलीशान बंगला, चैनल भी खोला था
पुलिस कमिश्नर श्रीवास्तव ने बताया कि भवानी सिंह शेखावत व विनय अग्रवाल द्वारा बीटीएस चैनल खोला था। भवानी सिंह का बनीपार्क में आलीशान बंगला है। बंगले की छत पर स्वीमिंग पूल, मिनी बार और बिलियडर्स खेलने की सुविधा भी है। करोड़ों रुपए कीमत की लग्जरी कारें हैं। एडिशनल पुलिस कमिश्नर प्रसन्न कुमार खमेसरा ने बताया कि दोनों ही गैंग के सरगना गणेश इंगले व अमित गुप्ता ने पहले सिपरी नाम की स्वीडिश कंपनी ‘स्टॉकहोम इंटरनेशनल पीस रिसर्च इंस्टीट्यूट’ नाम से फर्जी कंपनी बना करोड़ों रुपए की धोखाधड़ी कर चुके है। लोगों को ठगी का पता चला तो आरोपी कंपनी बंद कर भाग गए।
इन्होंने दर्ज कराया मामला
इंदौर व्यवसायी नावेद हसन को रेडियोएक्टिव पदार्थ के नाम पर डीआरडीओ के फर्जी रजिस्ट्रेशन सर्टिफिकेट, टेस्टिंग, रॉयल्टी, पेमेंट की रसीदे दिखा दुर्लभ पेंटिंग, करामाती चश्मा और माला के नाम पर 4.80 करोड़ रुपए ले लिए, बनीपार्क थाने में दर्ज रिपोर्ट में पीडि़त ने बताया कि विनय अग्रवाल, भवानीसिंह, अजयसिंह, दोनों गिरोह का सरगना गणेश इंगले, अमित गुप्ता, सत्यनारायण व इनके अन्य साथियों ने 4.80 करोड़ की ठगी कर ली।
हैदराबाद के व्यवसायी नंदकिशोर ने भवानी सिंह शेखावत, विनय अग्रवाल, अजयसिंह, गणेश इंगले, अमित गुप्ता, सत्यानाराण, सन्नी जैन, चन्द्र सैन पनीगर व अन्य के खिलाफ रेडियोएक्टिव पदार्थ 192, चश्मा, पेंटिंग, जादुई माला के नाम पर 5.55 करोड़ की ठगी का मामला बनीपार्क थाने में दर्ज कराया।
कोलकाता के व्यवसायी दिलीप अग्रवाल ने भवानी सिंह, गणेश इंगले, विनय अग्रवाल, विकास पोद्दार, राकेश गोयल, अमित गुप्ता, सत्यनारायण व अन्य के खिलाफ रेडियोएक्टिव पदार्थ आर्टिकल 192 व सुलमानी माला के नाम पर 3.9 करोड़ रुपए ठगी का का मामला बनीपार्क थाने में दर्ज कराया।
जयपुर निवासी महेशचंद मीणा ने भवानीसिंह, गणेश इंगले, विनय अग्रवाल, राकेश गोयल, अमित गुप्ता, सत्यनारायण व अन्य के खिलाफ रेडियोएक्टिव पदार्थ आर्टिकल 192, चश्मा, पेंटिंग, सुलेमानी माला के नाम पर 2.50 करोड़ रुपए ठगी करने का मामला संगानेर थाने में दर्ज कराया। जबकि पुणे निवासी योगेश सोनी, समीर मोहिते और गिरीश सोनी से 8 करोड़ रुपए की ठगी के मामले में जयपुर कमिश्नरेट पुलिस ने गैंग का पहले ही खुलासा किया था।
ये सामान बरामद, 25 बैंक खाते किए फ्रीज
पुलिस कमिश्नर श्रीवास्तव ने बताया कि आरोपियों के यहां कई कथित एंटिक वस्तुएं, डीआरडीओ लिखी जिप्सी, कथित करामाती सुलेमानी माला, चश्मा, विस्फोट में काम ली जाने वाली बैट्री सहित कई दस्तावेज बरामद हुए हैं। उन्होंने बताया कि पीडि़त लोगों से जिन बैंक खातों में रकम डलवाई गई, ऐसे 25 बैंक खातों की जानकारी सामने आने पर उन्हें फ्रीज करवाया गया। गिरोह के पकड़े जा चुके सदस्यों की निशानदेही पर जयपुर से बाहर कुछ सामान जब्त किया है।
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