जयपुर ग्रामीण पुलिस अधीक्षक शंकरदत्त शर्मा ने बताया कि ओडिसा निवासी मनोज महापात्र, उत्तर प्रदेश निवासी पवन कुमार, रचित वर्मा, सनी शर्मा, अंकित शर्मा, अलवर निवासी अखिल कुमार को गिरफ्तार किया है। एसपी शंकर दत्त शर्मा ने बताया कि 6 फरवरी को राजीव चौधरी ने सायबर जालसाजों के खिलाफ सामोद थाने में मामला दर्ज करवाया।
रिपोर्ट में बताया कि जालसाजों ने 22 बार में उनके बैंक खाते से 7.19 लाख रुपए निकाल लिए। जबकि पीडि़त ने ओटीपी सहित बैंक संबंधित कोई भी जानकारी किसी से साझा नहीं की। अनुसंधान में पता चला कि गिरोह रात्रि के समय ही रुपए निकालने की वारदात करता है। गिरोह के पर्दाफाश में सायबर एक्सपर्ट एएसआई रतनदीप की विशेष भूमिका रही।
प्लेन से ही करते यात्रा, कूरियर से भेजते थे सिम एसपी शंकरदत्त शर्मा ने बताया कि गिरोह के सदस्य देशभर में सायबर ठगों को सिम और अन्य संसाधन उपलब्ध करवाने के लिए प्लेन से यात्रा करते। सायबर ठगों को सिम देने के लिए कूरियर का उपयोग करते थे। गिरोह ऐसी सिम की तलाश करता है, जिसमें लोग पेटीएम और फोन पे नंबर वाली सिम बंद करवा देते हैं, जबकि उक्त नंबर पर फोन पे और पेटीएम अकाउंट बंद नहीं होता। फिर गिरोह के सदस्य उक्त सिम नंबरों के आधार पर तकनीकी के जरिए पेन कार्ड और बैंक खाता नंबर तलाशते। फर्जी दस्तावेजों से सिम पुन: चालू करवाकर पेन कार्ड के जरिए केवाईसी अपडेट करवाते और फिर लाखों रुपए तक बैंक खातों से उड़ा लेते। गिरोह के पास 500 फर्जी सिम, विभिन्न पेटीएम, फोन पे खाते, 1.50 लाख रुपए और देशभर में बड़ी संख्या में फैली सायबर ठगों की जानकारी मिली है। एसपी शर्मा ने गिरोह को पकडऩे वाली टीम को पुरस्कृत करने की घोषणा की है।