scriptद्रव्यवती नदी में 47 किमी में साइकिल ट्रेक व वॉक-वे बनेगा, जेडीए ने टाटा कंपनी को दिए निर्देश | Bicycle trek and walkway will be built in 47 km in the Dravyavati river | Patrika News

द्रव्यवती नदी में 47 किमी में साइकिल ट्रेक व वॉक-वे बनेगा, जेडीए ने टाटा कंपनी को दिए निर्देश

locationजयपुरPublished: Aug 19, 2017 07:30:00 am

Submitted by:

Abhishek Pareek

 द्रव्यवती नदी (अमानीशाह नाला) प्रोजेक्ट में अब लोगों को साइकिल चलाने के लिए ट्रैक की सुविधा भी मिलेगी।

Dravyavati river
जयपुर। द्रव्यवती नदी (अमानीशाह नाला) प्रोजेक्ट में अब लोगों को साइकिल चलाने के लिए ट्रैक की सुविधा भी मिलेगी। इस प्रोजेक्ट में 4 मीटर चौड़ा वॉक-वे व साइकिल ट्रैक बनेगा। विश्वकर्मा के पास जैसल्या गांव से गोनेर तक 47 किलोमीटर दूरी में इस वॉक-वे व साइकिल ट्रैक पर साइकिल चलाने की अनुमति होगी। मुख्यमंत्री के निर्देश पर जेडीए ने इसे प्रोजेक्ट में शामिल कर लिया है। अनुबंधित कंपनी टाटा प्रोजेक्ट्स के अधिकारियों को निर्देशित भी कर दिया गया है। प्रोजेक्ट के कार्य की समीक्षा के लिए शुक्रवार को हुई बैठक में कंपनी के अधिकारियों को इस बारे में बता दिया गया। सूत्रों के मुताबिक पिछले दिनों मुख्यमंत्री के साथ हुई बैठक में उन्होंने साइकिल ट्रैक की जरूरत जताई थी। जेडीसी वैभव गालरिया की अध्यक्षता में हुई बैठक में टाटा प्रोजेक्ट्स के उपाध्यक्ष सत्यनारायण, जेडीए अभियांत्रिकी निदेशक ललित शर्मा, अतिरिक्त मुख्य अभियंता बीडी शर्मा सहित अन्य अधिकारी शामिल हुए।
यह है प्रोजेक्ट
1476 में से 300 करोड़ का हुआ काम

206 करोड़ रुपए 10 साल में खर्च होने हैं रखरखाव पर

44 करोड़ रुपए खर्च हुए जुलाई में

47 किलोमीटर लम्बाई है द्रव्यवती नदी की
15 अगस्त 2018 को उद्घाटन करना चाहती है सरकार

1476 करोड़ रुपए लागत से होना है सौन्दर्यकरण का काम

अब बदलने होंगे पत्थर
मौजूदा डिजाइन के आधार पर अभी तक केवल वॉक-वे विकसित होना था। इसमें करौली या जोधपुरी पत्थर लगता लेकिन अब साइकिल ट्रैक के लिए दूसरे पत्थर या टाइल लगाई जाएंगी। इस पर लागत कुछ बढ़ सकती है।
किराए पर साइकिल देना भी प्रस्तावित
यहां किराए पर साइकिल उपलब्ध कराने पर भी विचार चल रहा है। इस पर चर्चा तो हुई लेकिन अंतिम निर्णय नहीं हो पाया। अभी स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत शहर में बायसाइकिल स्टेंड विकसित किए जा रहे हैं। इन साइकिलों को भी देखा जाएगा।
प्रोजेक्ट में यह भी है शामिल
टाउन स्क्वायर : व्यवसायिक गतिविधियों का संचालन, बड़े व्यापारियों व कंपनियों के लिए
कल्चरल प्लाजा : पर्यटकों की आवाजाही के आधार पर विकसित।
कॉमर्शियल पार्क : शॉपिंग, वर्कशॉप, एग्जीबिशन, कैफे, रेस्टोरेंट
फैशन स्ट्रीट : हैंगआउट इलाके की तर्ज पर सुविधाएं। कियोस्क रूप में दुकानें, कैफे व रेस्टोरेंट
इको पार्क : हरित तकनीक पर आधारित पार्क, जिनमें सौर ऊर्जा, जल प्रबंधन, ठोस अपशिष्ट प्रबंधन को बेहतर समझ सकेंगे
जॉगिंग पार्क : आवासीय इलाके से सटे पार्क में जॉगिंग ट्रेक होगा
सामुदायिक उद्यान : योग, संगीत के साथ सैर करने के लिए मीडियम क्षेत्रफल का उद्यान
नेचर ट्रेल : नदी से सटे हिस्से को इस तरह विकसित किया जाएगा
लोटिंग गार्डन : प्रोजेक्ट का एतिहासिक हिस्सा। अस्थाई उद्यान विकसित होगा।
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