कमेटी दे चुकी सिफारिश बजट घोषणा के बाद 2019 में जुलाई माह में सरकार ने कानून का प्रारूप तय करने के लिए रामलुभाया कमेटी गठित की थी। समिति ने अन्य राज्यों में मौजूद ऐसे कानूनों का अध्ययन और जुर्माने एवं वित्त संबंधी अन्य प्रावधानों पर अपनी रिपोर्ट लॉकडाउन से पहले सरकार को दी थी। लेकिन अब तक इस पर ठोस निर्णय नहीं हो सका था।
कानून में जनता का क्या फायदा? सरकारी तंत्र में भ्रष्टाचार, लोकसेवकों की कामकाज में लेटलतीफी पर अंकुश और आमजन को दफ्तरों के चक्कर काटने से मुक्ति दिलाने के उद्देश्य से ये कानून लाया जा रहा है। इसके जरिए जहां सूचना का अधिकार कानून को और ताकत दी जाएगी। वहीं, लोकसेवाओं की जनता तक पहुंच आसान बनाने और उनकी सुनवाई की गारंटी के अधिकारों को और मजबूत करने के लिए प्रावधान किए जाएंगे।