मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने आज दिल्ली में एआईसीसी मुख्यालय मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि सांसदों और विधायकों को ईडी के जरिए धमकाया जाता है। गोवा, मणिपुर, कर्नाटक, मध्यप्रदेश और महाराष्ट्र में चुनी हुई सरकारों को गिराने में केंद्र सरकार ने ईडी को अपना हथियार बनाया हुआ है।
केंद्रीय जांच एजेंसियों का दुरूपयोग करके मोदी सरकार इन एजेंसियों की विश्वसनीयता कम कर रही है।मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि हम कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी पर ईडी की कार्रवाई का पुरजोर शब्दों में विरोध करते हैं और इसके विरोध में आज देश भर में कांग्रेस कार्यकर्ता धरने प्रदर्शन कर रहे हैं
सोनिया गांधी ने प्रधानमंत्री का पद ठुकराया
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि केंद्र सरकार ईडी के जरिए गांधी परिवार को परेशान कर रही है। पहले 5 दिन 50 घंटे तक राहुल गांधी से पूछताछ की गई और अब पूछताछ के लिए सोनिया गांधी को बुलाया जा रहा है। सोनिया गांधी के घर जाकर भी ईडी उनसे पूछताछ कर सकती थी, पहले भी कई बार ईडी कई लोगों से घर जाकर पूछताछ कर चुकी है।
अशोक गहलोत ने कहा कि सोनिया गांधी वो महिला है जिन्होंने प्रधानमंत्री का पद ठुकराया था। यूपीए का गठन किया और मनमोहन सिंह को प्रधानमंत्री बनाया। सोनिया गांधी उस परिवार से हैं जहां पर पंडित नेहरू और इंदिरा गांधी जैसे प्रधानमंत्री हुए।
इंदिरा गांधी ने पाकिस्तान के दो टुकड़े कर दिए। पाकिस्तान के 90 हजार सैनिकों को सरेंडर करवा दिया, अपने प्राणों की आहुति दे दी लेकिन देश को अखंड रखा। राजीव गांधी ने देश के लिए शहादत दी है।
बीजेपी ने देश में अलग-अलग कानून बनाए
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि बीजेपी ने देश में दो कानून बना रखे हैं, एक कानून विपक्ष के लोगों के लिए है और दूसरा खुद के लिए हैं। विपक्ष के नेताओं को केंद्रीय जांच एजेंसियों के जरिए डराया जाता है।
शिवसेना के कई सांसदों को विधायकों को ईडी के जरिए डराया गया और उनकी सरकार गिराई गई। अब जब महाराष्ट्र में शिवसेना के असंतुष्ट विधायकों और बीजेपी की सरकार बन गई है तो उन सभी के गुनाह माफ हो गए। इससे साफ है कि केंद्र सरकार विपक्ष को दबाने के लिए जांच एजेंसियों का दुरुपयोग कर रही है।
एनआईए की जांच पर गहलोत ने उठाए सवाल
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि देश भर में इतनी घटना हुई है लेकिन उदयपुर घटना होते ही एनआईए ने उस मामले को अपने हाथ में ले लिया। हमने इस पर कोई एतराज नहीं किया लेकिन हमें संदेह पैदा करता है कि एनआईए रात को ही इस मामले में कैसे इंवॉल्व हो गई, जबकि हमारी एजेंसियों ने जांच शुरू कर दी कर दी थी।
दोनों आरोप पकड़ गए थे। नेता प्रतिपक्ष के फोटो आरोपियों के साथ वायरल हुए हैं, इनको पहले छुडाने के लिए सिफारिश भी बीजेपी के नेताओं ने थाने में की थी। ये तमाम बातें सिद्ध करती है कि जो मारने वाले थे वो बीजेपी के साथ जुड़े हुए थे।
इस मामले में बीजेपी पूरे देश में एक्सपोज हुई। बीजेपी का बैकग्राउंड क्या है यह किसी से छुपा नहीं है। एनआईए को चाहिए कि जो घटना हुई है उसे लेकर धरातल पर जाएं और आरोपियों का बीजेपी से क्या लिंक था उसकी जांच करें।
लोकतंत्र और संविधान की धज्जियां उड़ाई
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि केंद्र की मोदी सरकार लगातार देश में लोकतंत्र और संविधान की धज्जियां उड़ा रही है। कांग्रेस के मुख्यालय में कांग्रेस के नेताओं को नहीं आने दिया जा रहा है। कांग्रेस कार्यालय के बाहर पुलिस छावनी बना दी गई है। ऐसा पहले कभी नहीं हुआ, इन्हें समझना चाहिए कि जनता का मूड कभी बदल सकता है। इसलिए इस तरह के हथकंडे नहीं अपनाने चाहिए।
पंडित नेहरू के योगदान को नहीं मानती केंद्र सरकार
गहलोत ने कहा कि केंद्र की मोदी सरकार आजादी का अमृत महोत्सव मनाने जा रही है। अगस्त माह में हर घर पर तिरंगा झंडा लगाने की बात कर रही है लेकिन यह लोग देश के निर्माण में कांग्रेस के योगदान को नहीं मानते। पंडित नेहरू के योगदान को नहीं मानते हैं, पहले बीजेपी और केंद्र के नेताओं को समझना चाहिए कि देश जब आजाद हुआ था तब देश में क्या था और आज देश में क्या है। 70 साल में जो देश ने विकास किया है उसमें कांग्रेस के नेताओं का महान योगदान है।