भाजपा सरकार ने की थी शुरुआत
पूर्व भाजपा सरकार ने जुलाई 2018 में अन्नपूर्णा दूध योजना शुरू की थी। तत्कालीन मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने जयपुर के ही एक स्कूल से इसे शुरू किया था। शुरुआत में सप्ताह में तीन दिन दूध पिलाया जाता था। जिसे बाद में रोजाना कर दिया गया। योजना के तहत कक्षा एक से आठ तक के करीब साठ लाख बच्चों को फीका दूध दिया जा रहा था। योजना के अन्तर्गत प्रार्थना सभा के बाद दूध गर्म कर फिर उसे ठंडा कर बच्चों को पिलाने का प्रावधान था।
पूर्व भाजपा सरकार ने जुलाई 2018 में अन्नपूर्णा दूध योजना शुरू की थी। तत्कालीन मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने जयपुर के ही एक स्कूल से इसे शुरू किया था। शुरुआत में सप्ताह में तीन दिन दूध पिलाया जाता था। जिसे बाद में रोजाना कर दिया गया। योजना के तहत कक्षा एक से आठ तक के करीब साठ लाख बच्चों को फीका दूध दिया जा रहा था। योजना के अन्तर्गत प्रार्थना सभा के बाद दूध गर्म कर फिर उसे ठंडा कर बच्चों को पिलाने का प्रावधान था।
सरकार का तर्क, इसीलिए किया बंद
विभाग का तर्क है कि अन्नपूर्णा दूध योजना की क्रियान्विति में आ रही समस्याओं देखते हुए इसे बंद किया गया है। योजना में विद्यार्थियों को जो दूध सप्लाई किया जा रहा है वह मिलावटी है या नहीं इसकी जांच नहीं की जा सकती। उन्होंने कहा कि बच्चों को पूर्ण पोषण मिले, इसके लिए विकल्प का चयन कर सरकार ने निर्णय लिया।
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विभाग का तर्क है कि अन्नपूर्णा दूध योजना की क्रियान्विति में आ रही समस्याओं देखते हुए इसे बंद किया गया है। योजना में विद्यार्थियों को जो दूध सप्लाई किया जा रहा है वह मिलावटी है या नहीं इसकी जांच नहीं की जा सकती। उन्होंने कहा कि बच्चों को पूर्ण पोषण मिले, इसके लिए विकल्प का चयन कर सरकार ने निर्णय लिया।
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