सुप्रीम कोर्ट के जेलों में भीड़ कम करने के निर्देशों की पालना में गठित हाईपावर कमेटी की बैठक में सामने आया कि 25 मार्च से 7 अप्रेल के बीच 1013 लोगों को जमानत-पैरोल आदि पर छोड़ दिया गया है।
सेंट्रल जेल व जिला जेलों में 29 फरवरी को 15992 लोग बंद थे, जिनकी संख्या बुधवार को 14849 रह गई।इसके विपरीत उप जेलों में कैदियों की संख्या 3449 से बढ़कर 3723 हो गई। बड़ी जेलों से लोगों को छोटी जेलों में भेजा गया है।
राजस्थान हाईकोर्ट मुख्य न्यायाधीश इन्द्रजीत माहान्ति ने पिछले दिनों जेलों में नए आने वालों को आइसोलेशन में रखने और जेलों में भीड़ कम करने का सुझाव दिया था।
जेलों में बंद व्यक्तियों की पैरोल पर रिहाई के लिए सुप्रीम कोर्ट के निर्देश पर जिला विधिक सेवा प्राधिकरणों की 15 दिन में 2 बैठक हो चुकी हैं और उनमें कुल 797 लोगों को पैरोल के लिए चिन्हित कर लिया है। 59 को पैरोल पर छोड़ा भी है।
आइसोलेशन अवधि को बढ़ाकर 14 दिन किया जाए
कैदियों की रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने के लिए आवश्यकतानुसा खानपान बदला जाए
जो पैरोल पर बाहर लॉकडाउन रहने तक उनकी पैरोल बढ़ाई जाए
राज्य सरकार स्थाई पैरोल की लंबी प्रक्रिया में राहत देने पर विचार करे
25 हजार रुपए से कम जुर्माने के कारण बंद लोगों को राहत दी जाए
कुल क्षमता 22921
29 फरवरी को बंद लोगों की संया 21054
8 अप्रेल को बंद लोगों की संया 20968
25 मार्च से 7 अप्रेल तक नए कैदी आए 863
कुल रिहा हुए-1013, जिनमें से 216 लोग 2 सप्ताह में आए