राजस्थान की बात करें तो कमोबेश हर जिले में लोगों को देखकर ऐसा लगता है कि कोरोना जैसे अब रहा ही नहीं। दरअसल यह सवाल एक बार फिर इसलिए खड़ा हुआ है, क्योंकि WHO ने इसको लेकर बड़ा बयान दिया है। विश्व स्वास्थ्य संगठन के प्रमुख टेड्रोस अदनोम घेब्रेयसस ने कहा कोरोना वायरस वैश्विक स्वास्थ्य के लिहाज से आपात स्थिति बना हुआ है। उन्होंने कहा पिछले आठ हफ्तों में दुनिया भर में कोरोना वायरस से कम से कम 1,70,000 लोगों की मौत हुई है।
जयपुर के लोगों से इस बारे में बात की, तो ज्यादातर ने कहा वायरस को लेकर WHO जो भी कहे अब परवाह नहीं है। पहले ही कोरोना के कारण जिन्दगी की गाड़ी पटरी से उतर चुकी है। जो होगा सो होगा। रही बात मास्क की, तो तंग आ गए हैं। यह वायरस तो जाएगा नहीं, तो क्या जीना ही छोड़ दें।
इस बारे में जयपुर की डॉ जागृति से बात की, तो उन्होंने कहा लोगों ने वायरस के साथ जीना सीख लिया है। वैरिएंट्स भी उतना असर नहीं दिखा पा रहे हैं, लेकिन इस वायरस के साथ लोगों को यह सीखना होगा कि हाइजीन का ध्यान रखना उनके और समाज दोनों के लिए अच्छा है। मास्क तब तो जरूर लगाएं जब किसी को खांसी जुकाम हो। इन्फेक्शन को फैलाने से बचना चाहिए।
राहत की बात तो यह है देश में कोरोना के मामले जितनी तेजी के साथ बढ़ रहे थे, उतनी ही तेजी के साथ अब कम हो रहे हैं। बीते 24 घंटे के अंदर देश में कोरोना वायरस संक्रमण के 66 नए मामले सामने आने के बाद देश में अब तक संक्रमित हुए लोगों की संख्या घटकर 1,755 हो गई है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा कोरोना का डेली पॉजिटिविटी रेट 0.05% दर्ज किया गया है जबकि वीकली पॉजिटिविटी रेट 0.7% आंका गया है।
गौरतलब है डब्ल्यूएचओ ने अपनी आपात समिति के विवरण को जारी किया जिसमें कहा गया कि दुनिया में कोविड टीकों की अब तक 13.1 अरब खुराक दी जा चुकी हैं। डब्ल्यूएचओ के एक बयान के मुताबिक समिति ने माना कि महामारी ठहराव के बिंदु तक पहुंच सकती है।