कांग्रेस पर तंज कसते हुए सांसद दीयाकुमारी ने कहा कि कांग्रेस और विपक्षी दलों की घबराहट जायज है, जब वोट बैंक खिसकने लगता है तो ये विरोध की राजनीति पर उतर आते हैं। जनता के हित को नजरअंदाज करके पार्टी का नफा नुकसान देखने लगते हैं। यह वही कांग्रेस है जो आजादी के दशकों बाद तक कांग्रेस का हाथ गरीब के साथ और गरीबी हटाओ का नारा देकर अपना उल्लू सीधा करती आई है। इन नारों से न तो गरीबी हटी और न ही किसानों की आर्थिक प्रगति हुई। आजादी के इतने वर्षों बाद भी किसान के घर के हालात जस के तस बने हुए है। यह भी पहली बार हुआ है जब किसी सरकार ने किसानों के दर्द को पहचाना है।
सांसद ने राज्य की कांग्रेस सरकार पर गम्भीर आरोप लगाते हुए कहा कि बिल के विरोध में सरकारी स्तर पर गोपनीय तरीके से केंद्र सरकार के विरुद्ध किसानों को भड़काने की साजिश रची जा रही है, जो निंदनीय है। न्यूनतम समर्थन मूल्य में वृद्धि पर उन्होंने कहा कि किसानों को समृद्ध बनाने के लिए केंद्र सरकार द्वारा हरसम्भव प्रयास किए जा रहे हैं। न्यूनतम समर्थन मूल्य प्रणाली बरकरार रहेगी और सरकार फसल खरीदती रहेगी तो इसके बाद विपक्ष के पास कहने को कुछ भी नहीं बचता है। विपक्ष किसानों को बरगलाना बंद करे। जनता में उनकी पोल खुल चुकी है।