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Duplicate Tag Scam: गोशालाओं में हुआ बड़ा खुलासा: अब तक 49,314 फर्जी गौवंश के टैग पकड़े, 28 गौशालाओं को किया ब्लैकलिस्ट

Animal Welfare: फर्जी टैग से उठाए जा रहे थे करोड़ों रुपए, एप अपग्रेडेशन से गोशालाओं में पारदर्शिता बढ़ी, डुप्लीकेट टैग से भुगतान पर रोक।

जयपुर

Rajesh Dixit

Jun 24, 2025

जयपुर की एक गौशाला। फाइल फोटो।
जयपुर की एक गौशाला। फाइल फोटो।

Gopalan Department: जयपुर। गोपालन विभाग ने अपनी एप को अपग्रेड कर एक बड़ा सुधार किया है, जिससे अब डुप्लीकेट टैग के जरिए गोशालाओं को होने वाले फर्जी भुगतान पर पूरी तरह रोक लग गई है। गोपालन, डेयरी, पशुपालन एवं देवस्थान मंत्री जोराराम कुमावत ने मंगलवार को प्रेस वार्ता में जानकारी दी कि इस तकनीकी बदलाव से राज्य सरकार को करीब 29 करोड़ 58 लाख रुपए की बचत हुई है।

मंत्री ने बताया कि अब तक 49,314 फर्जी गौवंश के टैग पकड़े जा चुके हैं और 28 गौशालाओं को ब्लैकलिस्ट कर उनके भुगतान रोक दिए गए हैं। जांच की जिम्मेदारी भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो को सौंपी गई है।

सरकार की 29 करोड़ 58 लाख 84 हजार रुपए की राशि की बचत-

गोपालन मंत्री जोराराम कुमावत ने गोशालाओं के लिए चलाई जा रही योजनाओं की चर्चा करते हुए कहा कि तत्कालीन सरकार के समय गौवंश की संख्या अधिक बताकर करोड़ों रुपए का फर्जी भुगतान उठाने का मामला सामने आने पर उसकी जांच करई गई।मंत्री ने कहा कि जांच के बाद अकेले जैसलेमर जिले में 28 गौशालाओं को दोषी पाए जाने पर उन्हें ब्लैकलिस्ट करते हुए वर्ष-2024-25 के दूसरे चरण का भुगतान रोक दिया गया। साथ इन गौशालाओं की विस्तृत व प्रभावी तरीके से जांच के लिए भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो को जांच सौंपी गई है। इसके अलावा पिछले कुछ समय से गौवंश के डुप्लीकेट टैग लगाकर उनकी संख्या अधिक दिखाकर भुगतान उठाने के मामले भी गोपालन विभाग ने पकड़े हैं। इस जांच में 49 हजार 314 फर्जी गौवंश का भंडाफोड़ करते हुए संबंधित गौशालाओं की अनुदान राशि रोकी गई है। इससे गोपालन विभाग ने 29 करोड़ 58 लाख 84 हजार रुपए की राशि की बचत की है।


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811 करोड़ की अनुदान राशि के लिए भौतिक सत्यापन पूरा, जल्द होगा भुगतान

मंत्री कुमावत ने बताया कि 150 दिन की बकाया 811 करोड़ रुपए की राशि जारी करने की तैयारी पूरी हो गई है, जिसके लिए भौतिक सत्यापन का कार्य पूर्ण कर लिया गया है। इससे तीन हजार से अधिक गौशालाओं के 13.80 लाख गौवंश को समय पर चारा, पानी आदि उपलब्ध हो सकेगा।

मुख्यमंत्री मंगला पशु बीमा योजना के तहत अब तक 6.57 लाख पशुओं का बीमा किया गया है और वर्ष 2025-26 में 42 लाख पशुओं का बीमा करने का लक्ष्य है।

नंदियों के कल्याण के लिए भी सरकार ने बड़ा कदम उठाया है। 109 नंदीशालाएं स्वीकृत की गई हैं जिनमें से 65 पर काम चल रहा है और 10 नंदीशालाएं पूर्ण होकर 4708 नंदियों को आश्रय दे रही हैं। इन कार्यों के लिए 2740 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है।

मंत्री ने स्पष्ट किया कि अब कोई भी फर्जी आंकड़ों से भुगतान नहीं उठा सकेगा और दोषियों के खिलाफ रिकवरी व सख्त कार्रवाई की जाएगी।

यह तकनीकी और प्रशासनिक सुधार गोपालन विभाग की पारदर्शिता व पशु कल्याण की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम है।