दो दिन पहले ही मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने जोधपुर सीट ( Jodhpur Constituency ) से पुत्र वैभव गहलोत ( VAIBHAV GEHLOT ) की हार की जिम्मेदारी सचिन पायलट के लेने के बयान के साथ ही हार का पोस्टमार्टम किए जाने की बात कही थी। पायलट ने बुधवार को प्रदेश कांग्रेस मुख्यालय में पत्रकारों से बातचीत में कहा कि हार की गहराई से जांच के लिए सभी बूथों से रिपोर्ट मंगाई जा रही है। सभी बूथों की रिपोर्ट आने के बाद हर बूथ पर हार के क्या कारण रहे। इसकी पड़ताल पार्टी गहराई से कराएगी। इसके लिए सर्वे भी कराया जाएगा। उसके बाद आगे की चुनावी रणनीति तैयार होगी।
पायलट ने कहा कि देशभर में कांग्रेस को उमीद से कम सीट मिली हैं। यह चिंता का विषय है। कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ( Rahul Gandhi ) ने बड़ी बात बोली है, कि वे जिमेदारी लेते हैं। अंदर तक इसकी तहकीकात करनी होगी। हर राज्य में अलग परिस्थितियां हैं। लेकिन आंकलन और विश्लेषण कर जल्द से जल्द एक रोड मैप तैयार करेंगे। अब राज्य में निकाय चुनाव को लेकर तैयारी शुरु कर दी गई है। दो विधानसभा क्षेत्रों में उपचुनाव भी होने हैं। उसके लिए भी कांग्रेस पार्टी तैयारी में जुट गई है।
उधर, टोडाभीम से कांग्रेस के विधायक पृथ्वीराज मीणा ने बुधवार को पत्रकारों से बातचीत में उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट को मुख्यमंत्री बनाए जाने की पैरवी की है। उन्होंने कहा कि विधानसभा चुनावों में जीत के बाद भी मैंने पायलट को मुख्यमंत्री बनाने के लिए कहा था। इसका कारण यह नहीं कि मुझे पायलट से कोई मतलब है। उन्ही की वजह से विधानसभा चुनाव में बहुमत मिला था। पूर्वी राजस्थान में 46 में 43 सीटें जीते। हार की जिम्मेदारी लेने को लेकर कहा कि जब तक सरकार होती है, तो हार की जिम्मेदारी मुख्यमंत्री की होती है, संगठन की नहीं। फिर अध्यक्ष जिम्मेदार कैसे हो सकते हैं। पार्टी विपक्ष में होती है, तो ही अध्यक्ष हार के लिए जिम्मेदार हो सकता है। अभी यह जिम्मेदारी मुख्यमंत्री की है।