उन्होंने कहा कि जेडीए,नगर निगम, यूआईटी और नगर पालिकाओं में नक्शा पास करते ही निर्माण का एक प्रतिशत सेस जमा किया जाए। इसे जमा नहीं कराने की स्थिति में 24 प्रतिशत जुर्माना राशि के साथ सेस जमा कराना होगा। सरकार की ओर से जारी निर्देशों के अनुसार दस लाख से अधिक के निर्माण कार्यों पर एक प्रतिशत सेस देना अनिवार्य है और इनमें सड़क,पुल निर्माण,मकान निर्माण भी शामिल हैं।
मुख्य सचिव ने कहा कि कोरोना संकट के समय निर्माण कार्य रुकने से बिल्डर्स को सेस जमा करवाने में 6 महीने की छूट दिए जाने को लेकर राज्य सरकार की ओर से भारत सरकार को पत्र भेजा जाएगा। इसके लिए मंत्री स्तर से अनुमति मिल चुकी है। इसमें भारत सरकार की ओर से ही छूट दी जा सकती है वित्तीय वर्ष 2019—20 में 411 करोड़ रुपए सेस के रूप में जमा हुए हैं।