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Hanuman Jayanti 2020: जानें, लॉकडाउन में कैसे करें संकट मोचन हनुमान का गुणगान, देखें वीडियो

locationजयपुरPublished: Apr 08, 2020 01:38:30 pm

Submitted by:

SAVITA VYAS

इस बार हनुमान जन्मोत्सव पर विशेष संयोग

Hanuman Jayanti 2020: जानें, लॉकडाउन में कैसे करें संकट मोचन हनुमान का गुणगान, देखें वीडियो

सांगानेरी गेट स्थित पूर्व मुखी हनुमान मंदिर

जयपुर। नवरात्र के बाद अब भक्तों को घरों में रहकर ही अंजनी पुत्र भगवान हनुमान का जन्मोत्सव मनाना होगा। लॉकडाउन के चलते शहर के सभी मंदिरों के पट पूरी तरह से बंद हैं। वैसे भी हनुमान जी को संकट मोचन भी कहा जाता है। हनुमान जी की पूजा करने से जीवन में आने वाला बड़े से बड़ा संकट भी टल जाता है। जब लक्ष्मण जी के प्राण संकट में तो हनुमान जी ने ही संजीवनी बूटी लाकर उनके प्राणों की रक्षा की थींं। इस समय पूरी दुनिया में कोरोना वायरस के संक्रमण से हाहाकार मचा हुआ है। चारों तरफ नाकारात्मक उर्जा है। देशभर में 14 अप्रैल तक लॉकडाउन है। लोगों से सोशल डिस्टेंसिंग रखते हुए घरों में रहने की अपील की जा रही हैं। इस बार भक्त हनुमान मंदिरों में तो नहीं जा सकेंगे। ऐसे में लॉकडाउन में हनुमान जी की पूजा घर पर कैसे करें और इससे क्या लाभ होगा। इसको लेकर जयपुर संवाददाता सविता व्यास ने की राजधानी जयपुर के ज्योतिषियों से बात—

ज्योतिषाचार्य पंडित राजकुमार चतुर्वेदी ने बताया कि इस बार हनुमान जन्मोत्सव पर विशेष संयोग है। कहा जा रहा है कि यह संयोग चार सौ साल बाद बना है। इस बार चैत्र पूर्णिमा पर चित्रा नक्षत्र, बालव करण, व्यतिपात योग व आनंद योग, सिद्धयोग के साथ सर्वार्थ सिद्धि योग हैं। इन योगों के कारण इस बार हनुमान जयंती का महत्व और भी बढ़ गया है। कोरोना रूपी भयंकर बीमारी से निजात के लिए हनुमान जन्मोत्सव पर 108 बार हनुमान चालीस का पाठ जरूर करें।
एस्ट्रोलॉजिस्ट सुरभि गुप्ता ने बताया कि कोरोना की महामारी से पूरी दुनिया जूझ रही है। ऐसे में हनुमान चालीसा का पाठ करें। हनुमान जी के जन्मोत्सव पर हनुमान चालीसा व रामचरित मानस का पाठ जरूर करेंं। वैसे मंगलवार और शनिवार को सुंदरकांड और हनुमान चालीसा का पाठ करना बहुत शुभ माना जाता है। ‘ना से रोग हरे सब पीड़ा’ अगर ऐसी चोपाई 108 बार पढी जाती है तो बड़े से बड़ा रोग दूर हो जाता है। कोरोना के बाद भी अगर घर से बाहर जाते समय डर लगता है तो ‘भूत पिशाच निकट नहीं आवे’ का जाप कर सकते हैं। साथ ही
हनुमान जी की 12 स्त्रोत वाली नामावली आती है, उसे भी रोजाना पढ़ना चाहिए। इससे नकारात्मकता दूर होती है। साथ ही सभी परेशानियां दूर होती है। आपको बता दें हनुमान जी को शास्त्रों के अनुसार भगवान शिव भगवान शिव का ग्यारहवां रूद्र अवतार माना जाता है। ऐसी मान्यता है कि हनुमान जी की जन्म चैत्र शुक्ल पूर्णिमा पर हुआ। इससे ठीक पांच दिन पहले राम नवमी भी मनाई जाती है। हनुमान भगवान राम के भक्त थे। इस दिन भगवान राम सीता और लक्ष्मण के साथ हनुमान जी की पूजा विशेष फलदायी है। कहा जाता है कि इस दिन हनुमान जी मनवांधित फल देते हैं।

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