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स्कूल में कैसा मिल रहा है खाना, होगी जांच

locationजयपुरPublished: Feb 22, 2020 09:20:40 am

Submitted by:

MOHIT SHARMA

मिड-डे-मील का होगा औचक निरीक्षण, दूध की गुणवत्ता की भी होगी जांच, 27 और 28 फरवरी को होगा निरीक्षण

How is the mid-day meal available in school, will be investigated

स्कूल में कैसा मिल रहा है खाना, होगी जांच

जयपुर। प्रदेशभर के सरकारी स्कूलों, मदरसों, अनुदानित स्कूलों और विशेष प्रशिक्षण केन्द्रों में बच्चों को कैसा खाना मिड—डे—मील के रूप में मिल रहा है, इसकी अब जांच होगी। इसके साथ ही अन्नपूर्णा दूध योजना के तहत मिलने वाले दूध की भी जांच की जाएगी। प्रदेश के सरकारी स्कूलों में मिलने वाले मिड—डे—मील और अन्नपूर्णा दूध योजना का सघन निरीक्षण अगस्त में किया जाएगा। इससे पहले एक बार 27 और 28 फरवरी को स्कूलों की रेडमली जांच की जाएगी। हर जिले के कम से कम 20 प्रतिशत स्कूलों में मिड—डे—मील और अन्नपूर्णा दूध योजना की जांच की जाएगी। इसके लिए स्कूलों को अंक दिए जाएंगे, ये 10 तक होंगे। स्कूल को 7 अंक या इससे अधिक मिलेंगे तो स्थिति संतोषजनक होगी, 5 से 7 में सुधार की जरूरत ओर 4 से कम में सुधार के लिए निर्देश दिए जाएंगे। 4 से कम अंक आने पर निरीक्षण कर्ता को उसमें असंतोषजनक की टिप्पणी लिखनी होगी।
चयनित स्कूलों में से 20 प्रतिशत स्कूल ऐसे होंगे जो दूरस्थ व दुर्गम स्थानों पर हों। इसके साथ ही ऐसे स्कूल जिनका 2 साल से एक बार भी निरीक्षण नहीं हुआ है उनका प्राथमिकता से निरीक्षण किया जाएगा।
जिला कलक्टर करेंगे दल गठित
मिड—डे—मील निरीक्षण के लिए जिला कलक्टर निरीक्षण दल का गठन करेंगे। निरीक्षण दल में अतिरिक्त जिला कलक्टर, मुख्य कार्यकारी अधिकारी, जिला परिषद, अतिरिक्त मुख्य कार्यकारी अधिकारी, जिला परिषद के मुख्य कार्यकारी अधिकारी, उपखण्ड अधिकारी, तहसीलदार, जिला शिक्षा अधिकारी, अन्य जिला स्तरीय अधिकारी, खण्ड, उपखण्ड अधिकारी आदि निरीक्षण करेंगे। निरीक्षण दलों का गठन 24 फरवरी तक करना होगा।
ऐसे होगी जांच
निरीक्षण दल सबसे पहले भोजन की गुणवत्ता देखेगा। स्कूल में रसोईघर है या नहीं, गैस कनेक्शन की स्थिति, बर्तन हैं या नहीं, खाद्यान के रखरखाव की स्थिति, उपलब्धता, भंडारण की स्थिति कैसी है आदि की जांच करेगा। इसके बाद भोजन की व्यवस्था कैसी है मेन्यू के अनुसार मिल रहा है या नहीं, अध्यापक बच्चों को भोजन परोसने से पहले स्वयं चखते हैं या नहीं, कुक कम हेल्पर के मानदेय की स्थिति, लेखा जोखा आदि की जांच की जाएगी।
अन्नपूर्णा दूध योजना में दूध की उपलब्धता, लाभान्वितों की संख्या, दूध की गुणवत्ता, जांच के लिए लेक्टोमीटर है या नहीं और दूध का रिकार्ड देखा जाएगा।
इसके बाद अधिकारी अपनी रिपोर्ट बनाकर जिला शिक्षा अधिकारी को देंगे। और उनकी रिपोर्ट को एकजाई कर सरकार इस पर आगे की कार्रवाई करेगी।
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