कंगना के दफ्तर पर तोड़फोड़ के बाद चर्चा में आये इकबाल सिंह चहल को हाल ही में महाराष्ट्र की उद्धव ठाकरे सरकार ने बीएमसी कमिश्नर का जिम्मा सौंपा है। कोरोना संक्रमणकाल के दौरान उनपर मुंबई महानगर में साफ़-सफाई रखने, अतिक्रमणों के खिलाफ कार्रवाई करने व बीएमसी के दायरे में आने वाले अन्य गतिविधियों के संचालन का महत्वपूर्ण जिम्मा है।
मूल रूप से श्रीगंगानगर जिले के रहने वाले इकबाल महाराष्ट्र कैडर 1989 बैच के आइएएस हैं। उन्हें लंबा प्रशासनिक अनुभव है। वे गृह मंत्रालय से लेकर महाराष्ट्र के शहरी विकास मंत्रालय तक का काम देख चुके हैं। वह थाणे के डीएम भी रह चुके हैं। इसके अलावा भी पूरे करियर के दौरान उन्हें कई महत्वपूण जिम्मेदारियों से नवाज़ा जाता रहा है।
जानकारी के अनुसार इकबाल सिंह चहल ने प्राथमिक शिक्षा जोधपुर के केंद्रीय विद्यालय से ली है। इसके बाद उन्होंने इलेक्ट्रॉनिक और कम्युनिकेशन में बीटेक किया। बीटेक करने के बाद वह प्रतिष्ठित यूनिवर्सिटी हार्वर्ड चले गए। वहां से उन्होंने पब्लिक एडमिनिस्ट्रेशन में डिग्री ली।
जानकारी के अनुसार कोरोना महामारी के दौरान मुंबई के धारावी इलाके में अपने काम के लिए इकबाल चहल की काफी प्रशंसा हुई थी। उनके काम को देखते हुए ही उद्धव सरकार ने उन्हें बीएमसी के कमिश्नर जैसी अहम जिम्मेदारी सौंपी।
इकबाल अपनी फिटनेस को लेकर भी चर्चा में बने रहते हैं। उन्हें फिजिकली फिट आइएएस अधिकारियों में गिना जाता है। वे कई मैराथन में ही हिस्सा ले चुके हैं। योग, मैराथन दौड़ और फिटनेस से सम्बंधित कई तस्वीरें भी वे अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर साझा करते रहते हैं। उन्हें उनके प्रशासनिक कार्यों के लिए कई सम्मानों से भी नवाजा जा चुका है।