आईएलओ के आईटी एडवाइजर डॉ. डी.पी. शर्मा ने कहा कि अगर समय रहते सुधारा नहीं गया तो यूनाइटेड नेशंस एवं दुनिया का इंटरनेट गवर्नेंस का सपना अधूरा रह जाएगा।
Internet And Artificial Intelligence पर नियंत्रण नहीं तो अगले 5 साल में बेरोजगारी भयावह— Dr. DP Sharma
जयपुर संयुक्त राष्ट्र की ओर से इंटरनेट गवर्नेंस फॉरम के मिशन पब्लिक संयुक्त संवाद ‘इंटरनेट के भविष्य पर विश्व नागरिक संवाद’ सब्जेक्ट पर विश्वस्तरीय वेबिनार हुआ। इसमें इंटरनेशनल इंर्फोमेशन टेक्नोलॉजी एक्सपर्ट एवं आईएलओ के आईटी एडवाइजर डॉ. डी.पी. शर्मा ने इंटरनेट गवर्नेंस कॉन्फ्रेंस को संबोधित किया। कहा कि यदि भविष्य में इंटरनेट ( internet ) की ग्लोबल गवर्नेंस एवं आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस ( artificial intelligence ) पर समान अवसर, अधिकार संरक्षण एवं मानवतावादी दृष्टिकोण से नियंत्रण नहीं किया तो दुनिया का भविष्य प्राइवेसी, सुरक्षा एवं मानवता के धरातल पर खतरे में पड़ जाएगा।
डॉ. डी.पी. शर्मा ने कहा कि दुनिया में इंटरनेट यूजर के चार प्रमुख पिलर जुडिशरी, पॉलीटिशियंस, टेक्नोक्रेट्स एवं जनरल पब्लिक हैं। आज की स्थिति एवं परिस्थिति में इन चारों के बीच में कोआर्डिनेशन की बहुत कमी है। अगर समय रहते सुधारा नहीं गया तो यूनाइटेड नेशंस एवं दुनिया का इंटरनेट गवर्नेंस का सपना अधूरा रह जाएगा।
एआई जिस गति से पैर फैला रहा है, अगर इसके विस्तार में यूनाइटेड नेशंस जैसी एजेंसियों ने हस्तक्षेप नहीं किया तो 5 साल बाद बेरोजगारी की दर दुनिया में भयावह रूप धारण कर लेगी। उन्होंने कहां कि कोविड के कारण बदले हालातों में आज शिक्षा, गवर्नेंस, प्रशासन, प्रबंधन, संवाद संप्रेषण, सब कुछ इंटरनेट पर निर्भर हो गया है जिसे हम इंफॉर्मेशन हाईवे पर एक अंतरराष्ट्रीय अतार्किक दौड़ मान सकते हैं मगर हमें इसे तार्किक एवं मानवतावादी बनाना होगा।
संवाद में इंटरनेट गवर्नेंस से जुड़े मुद्दे जैसे डिजिटल सोबरनिटी, सिटीजन डेटा की प्राइवेसी एवं सिक्योरिटी, डाटा रिसोर्स, डाटा एज लेबर, डाटा एज पर्सनल रिफ्लेक्शन, डाटा एज इंफ्रास्ट्रक्चर, डाटा इकॉनोमिक वैल्यू, कल्चरल वैल्यू, वैश्विक डेमोक्रेटिक वैल्यूज, मिस इंफॉर्मेशन, डिसइनफॉरमेशन, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस एवं इंटरवेंशन, इंक्लूजन ऑफ पीपल, फ्यूचर ऑफ इंटरनेट एवं आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस इत्यादि मुद्दों पर वैश्विक डिजिटल सहयोग कर संयुक्त राष्ट्र के एजेंडा को आकार देने के लिए विस्तार से चर्चा हुई।
दो दिवसीय कॉन्फ्रेंस में यूनाइटेड नेशंस के इंटरनेट गवर्नेंस की पूर्व चेयरमैन लिन-इस्टी अमोर, यूरोपियन यूनियन की जनरल असेंबली काउंसिल की मिनिस्टर ऑफ स्टेट माइकल रोथ, यमन देश की पूर्व इंफॉर्मेशन मिनिस्टर नाडिया अल सकफ, वर्ल्ड वाइड वेब फाउंडेशन की पॉलिसी डायरेक्टर एमिली शारपे सहित कई विश्वस्तरीय नाम शामिल हुए।