सभी आरोपी पुलिस रिमांड पर उधर, गिरफ्तार गिरोह सरगना और निगम के एइएन सहित सभी छह आरोपी 28 अप्रेल तक पुलिस रिमांड पर है, जिनसे वैशाली नगर पुलिस पूछताछ कर रही है। पुलिस की जांच में सामने आया कि गिरोह ने बिजली के खंभे, तार व ट्रांसफार्मर सहित एल्म्यूनियम का करोड़ों रुपए का नया सामान भी स्क्रैप की आड़ में बेच दिया। मामले में पुलिस आरोपियों से पूछताछ कर उन अधिकारियों की जानकारी जुटा रही है, जो पेटीपैक सामान को भी कबाड़ बता बेचने के लिए गिरोह को सौंप देते थे।
गिरोह सरगना ने पुलिस को बताया कि दो माह पहले हुई नीलामी में उसने उक्त गोदाम से सौ टन स्क्रैप ले जाने का ठेका लिया था। आरोपियों से पूछताछ और बरामद दस्तावेजों से सामने आया कि गिरोह गत दो माह में ही करीब 132 टन स्क्रैप ले जा चुका है, जबकि गोदाम के दस्तावेजों में केवल 84 टन माल ले जाने की एंट्री है। वहीं, मामले का पर्दाफाश करने वाले क्राइम ब्रांच के एडिशनल डीसीपी राजेंद्र त्यागी ने बताया कि इस तरह कागजों में हेराफेरी कर अधिकारियों के मिलीभगत से यह गिरोह प्रत्येक माह लाखों रुपए का गबन कर रहा था।
सरकारी रिकॉर्ड में जमकर की हेराफेरी पुलिस ने बताया कि गिरोह सरगना रामावतार मीणा और उसके साथी गोदाम से निर्धारित मात्रा से कई गुणा अधिक माल ले जाने के अलावा स्क्रैप की आड़ में एकदम नया माल भी बेच कर करीब पचास लाख रुपए प्रत्येक माह कमा रहे थे। पूछताछ में यह भी सामने आया कि इसके लिए गोदाम से माल ले जाने में कागजों में जमकर फर्जीवाड़ा किया गया।
जांच के आधार पर स्क्रैप घोटाले में शामिल अन्य अरोपियों को भी चिन्हित किया जा रहा है। सबूत जुटाने के बाद आरोपी अधिकारियों को पूछताछ के लिए बुलाया जाएगा।
संजय गोदारा, वैशाली नगर थानाधिकारी
संजय गोदारा, वैशाली नगर थानाधिकारी