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जयपुर // पहले स्मार्ट बाजार को लेकर उठे सवाल

वल्र्ड हेरिटेज सिटी (World Heritage City) में शामिल जयपुर (jaipur) के चारदीवारी क्षेत्र में समस्याएं (Problems) बरकरार है। पहले स्मार्ट बाजार (Smart Bazar) किशनपोल (Kishanpol) में आवारा पशु, अवैध अतिक्रमण, सडक़ों पर कचरे के ढेर, बंद लाइटें जैसी समस्याएं लोगों के लिए परेशानी का कारण बनी हुई है।

जयपुरOct 09, 2019 / 09:14 pm

Girraj Sharma

पहले स्मार्ट बाजार को लेकर उठे सवाल

पहले स्मार्ट बाजार को लेकर उठे सवाल

पहले स्मार्ट बाजार को लेकर उठे सवाल

ये कैसा स्मार्ट बाजार, समस्या बरकरार
– किशनपोल के स्मार्ट बाजार को लेकर उठाए सवाल
– आवारा पशु, पार्किंग और कचरा बड़ी समस्या

जयपुर। वल्र्ड हेरिटेज सिटी (World Heritage City) में शामिल जयपुर (jaipur) के चारदीवारी क्षेत्र में समस्याएं (Problems) बरकरार है। पहले स्मार्ट बाजार (Smart Bazar) किशनपोल (Kishanpol) में आवारा पशु, अवैध अतिक्रमण, सडक़ों पर कचरे के ढेर, बंद लाइटें जैसी समस्याएं लोगों के लिए परेशानी का कारण बनी हुई है। बाजार में अभी स्मार्ट रोड और फुटपाथ आदि ही बने हैं। पार्किंग के लिए स्थाई जगह चिह्नित नहीं होने से लेाग सडक़ पर ही वाहन खडे कर रहे हैं। बारामदों मंे अतिक्रमण हो रहे हैं। लोग यातायात के बीच सडक़ पर पैदल चलने को मजबूर है।
किशनपोल बाजार व्यापार मंडल अध्यक्ष मनीष खूंटेटा ने बताया कि स्मार्ट बाजार किशनपोल में भी समस्याएं पहले जैसे ही है। नाम का स्मार्ट बाजार बना है। सडक़ों पर आवारा पशु घूमते रहते हैं, जिससे हादसे होने का डर बना हुआ है। गलियों का कचरा सडक़ों पर आ जाता है। बाजार में जगह-जगह कचरा डिपो बने हुए हैं, दोपहर तक वहां से कचरा नहीं उठता है। स्मार्ट सिटी के तहत मुख्य बाजारों में भवनों पर लाइटें लगाई गई, लेकिन वे बंद पड़ी है। बाजार में स्मार्ट सिटी के तहत अभी ७० फीसदी ही काम पूरा हुआ है। दुकानों के बाहर हरियाली के गड्ढ़े खोद दिए गए। पार्किंग के नाम पर बोर्ड लगा दिए, लेकिन पुख्ता व्यवस्था नहीं होने से लोग मनमर्जी से जहां जगह मिल जाती है, वहीं वाहन खड़े कर रहे हैं।
व्यापारी राजा खुटेंटा ने बताया कि स्मार्ट सिटी के तहत बाजार में वाईफाई सुविधा शुरू होनी थी, लेकिन अभी नहीं हुई। सिर्फ रोड बनाकर काम रोक दिया है। ई-रिक्शा आदि के लिए ग्रीन पट्टी बनाई गई, लेकिन उस पर वाहन खड़े हो रहे हैं। व्यापारियों से वादा किया था कि पांच साल तक स्मार्ट सिटी बाजार की देखरेख करेंगी, लेकिन काम पूरा होने से पहले ही देखरेख करना दूर बाजार को भूल गए। व्यापारी आनंद महरवाल ने बताया कि स्मार्ट बाजार में सिर्फ एक शौचालय है, जबकि बाजार की लम्बाई करीब 750 मीटर है। बाजार में दिनभर ग्राहकों की भीड़ रहती है, दूर-दराज से ग्राहक आते हैं, लेकिन शौचालय नहीं होने से वे परेशान होते हैं।
स्थानीय निवासी गोविंद नाटाणी ने बताया कि परकोटे में प्रमुख रूप से पार्किंग, आवारा पशु, बंदरों का आतंक बड़ी समस्या है। शहर में हो रहे विकास के काम की कछुआ चाल से लोग काफी परेशान हैं। भूमिगत मेट्रो का काम पूरा नहीं हो पा रहा है। इसके साथ ही स्मार्ट सिटी का काम शुरू हो गया, जिससे बाजारों में ट्रैफिक जाम जैसे हालात बने रहते हैं। वहीं विपीन नाटाणी ने बताया कि अवैध निर्माण भी फल-फूल रहे हैं। पेइंग गेस्ट हाउस चल रहे है, इससे पार्किंग की समस्या बनी हुई है।

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