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विश्व मच्छर दिवस आज: स्मार्ट सिटी जयपुर क्यों नहीं बना मास्किटो फ्री सिटी, जानिए

locationजयपुरPublished: Aug 20, 2019 11:26:55 am

Submitted by:

Pawan kumar

– शहर में मच्छरों की भरमार, निगम अगले महीने करेगा दवा का छिड़काव- फेल हो गया नगर निगम का मॉस्किटो फ्री सिटी का दावा, राजधानी में 10 महीने से बंद है फोगिंग

Mosquito free pinkcity

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जयपुर। आज विश्व मच्छर दिवस है। शहरी सरकार यानी नगर निगम ने 1 सितम्बर 2017 को जोरशोर से जयपुर को मास्किटो फ्री सिटी बनाने की मुहिम शुरू की। लेकिन 2 साल बाद हालात ये हैं कि मच्छर मुक्त शहर तो दूर की बात निगम की फोगिंग का ही अतापता नहीं है। मॉस्किटो फ्री सिटी के तहत नगर निगम को पूरे साल शहर में फोगिंग करनी थी। लेकिन निगम की फोगिंग बीते 10 महीनों से बंद है।
जानकारी के अनुसार नगर निगम प्रशासन ने 1 सितम्बर 2017 को जोरशोर से जयपुर को मास्किटो फ्री सिटी के तहत 2 व्हीकल माउंटेड सहित एक दर्जन नई फोगिंग मशीनें खरीदी थीं। तत्कालीन महापौर अशोक लाहोटी ने 1 सितम्बर 2017 को फोगिंग की शुरूआत करते हुए पूरे साल फोगिंग जारी रखने की घोषणा की थी। साथ ही नई मशीनों और संसाधनों से शहर को मॉस्किटो फ्री सिटी बनाने का सपना दिखाया था। लेकिन निगम का दावा सिर्फ कागजी साबित हुआ। नगर निगम ने वर्ष 2017 में 1 सितम्बर से नवम्बर 2017 में ही फोगिंग की। इसी तरह 2018 में सितम्बर, अक्टूबर और नवम्बर महीने में ही फोगिंग की। नवम्बर 2018 के बाद नगर निगम अब 1 सितम्बर 2019 से शहर में फोगिंग शुरू करेगा। निगम की टीमें कभी भी पूरे शहर में फोगिंग नहीं कर पाई है। निगम कुछ चुनिंदा जगहों पर ही फोगिंग करके अपने कर्तव्य की इतिश्री कर लेता है। इसी का नतीजा है कि जयपुर शहर में मच्छरों का प्रकोप बढ़ गया है। इससे मच्छर जनित बीमारियों के रोगियों की संख्या लगातार बढ़ रही है। लेकिन निगम शहर में फोगिंग सितम्बर में ही शुरू करवाएगा। जबकि शहर में फोगिंग की जरूरत अभी से है।
मॉस्किटो फ्री सिटी के लिए कागजों में ये हो रहा
नगर निगम ने 1 सितम्बर 2017 से शहर के प्रत्येक वार्ड में दो पारियों में फोगिंग करने का अभियान छेड़ा था। तब ये घोषणा की गई थी कि 2 व्हीकल माउंटेड फोगिंग मशीन और 7 पोर्टेबल फोगिंग मशीनों से पूरे साल फोगिंग की जाएगी। रोजाना सुबह 9 से दोपहर 12 बजे और शाम 4 बजे से शाम 7 बजे तक फोगिंग की जाएगी। जिससे की जयपुर को मॉस्किटो फ्री सिटी यानी मच्छर रहित शहर बनाया जा सके। फोगिंग का जिम्मा वार्ड के स्वास्थ्य निरीक्षक और पार्षद को सौंपा गया था। निगम का मॉस्किटो फ्री सिटी की घोषणा सिर्फ जुबानी जमा खर्च ही साबित हुआ है।
लार्वा मिलने पर 500 रूपए की वसूली
नगर निगम प्रशासन जब शहर में फोगिंग करके मच्छर मारने में नाकाम रहा तो बरसाती मौसम में घरों, दुकानों या प्रतिष्ठानों से जुर्माना वसूलने की कवायद शुरू कर दी। नगर निगम ने 2018 के मॉनसूनी सीजन में जिन घरों या प्रतिष्ठानों के आसपास पानी में लार्वा मिला उनसे 500 रूपए जुर्माना वसूला था। निगम प्रशासन इस बार भी बरसाती पानी जमा होने और लार्वा मिलने पर जुर्माना वसूल रहा है। लेकिन फोगिंग करके शहर के लोगों को मच्छरों से निजात नहीं दिला रहा। गौरतलब है कि मच्छरों के प्रकोप को देखते हुए राज्य में डेंगू दिवस के उपलक्ष में 16 मई से 15 दिन तक डेंगू पखवाड़ा आयोजित किया गया। इस दौरान लोगों को डेंगू मच्छर से बचने के प्रति जागरूक किया गया। लेकिन नगर निगम खुद जागरूक नहीं हुआ।
मच्छरों से बचने के लिए करें ये उपाय

1-अपने आस पास जमा बारिश के पानी को साफ करवाएं.
2-सड़क पर ठहरे पानी को साफ करवाने के लिए स्थानीय
जनप्रतिनिधि या स्थानीय प्रशासन को अवगत कराएं.
3- अपने घरों पर पुराने बर्तनों, टायरों, गमलों और
अन्य पात्रों में बरसाती पानी जमा नहीं होने दें.
4-कूलर का पानी नियमित अंतराल से साफ करते रहे हैं.
मच्छरों को यूं भगाएं

1-मच्छर मारक पौधे घर में लगाएं.
2-कपूर की गंध और धुआं मच्छरों को भगा सकता है मच्छरदानी या मच्छर
भगाने वाली अगरबत्ती या अन्य साधनों का भी उपयोग किया जा सकता है.
3-पूरी आस्तीन के कपड़े पहनें.
4- नारियल का तेल शरीर पर अच्छी तरह लगाकर भी मच्छरों के प्रभाव से
बचा जा सकता है.
5- डेंगू का मच्छर अधिक उंचाई तक नहीं उड़ता, ऐसे में पैरों में घुटनों से
नीचे के हिस्से को पूरी तरह ढककर रखने से डेंगू के मच्छर से बचा जा
सकता है.
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