शहरी सरकार के चुनाव का बिगुल जल्द बजने वाला है। इसके लिए तैयारी अंतिम चरण में चल रही है और जल्द ही इनकी घोषणा कर दी जाएगी। इस बार जयपुर नगर निगम में वार्डो की संख्या भी बढ गई है और अब कुल 150 वार्ड होंगे। अब तक निगम में 91 वार्ड थे। इस तरह अब 59 जनप्रतिनिधि और चुने जाएंगे।
जयपुर नगर निगम में भी अभी वार्ड परिसीमन की आपत्तियों का निपटारा कर दिया गया है और अब नक्शों और सुनवाई की जा रही है और डीएलबी ने वार्डो के नक्शें बनाकर राज्य सरकार को भेज दिए है और 19 अगस्त तक इसके लिए गजट नोटििफकेशन जारी कर दिया जाएगा और इसके बाद यह साफ हो जाएगा कि कौनसा वार्ड किस जाति के लिए आरक्षित किया गया है। नगर निगम में सामान्य वर्ग के साथ ही अनुसूचित जाति, जनजाति और ओबीसी और महिला वार्ड के लिए लाटरी निकलेगी। इन सभी के लिए सभी को वार्डो की संख्या का निर्धारण पहले ही कर दिया गया है।
जयपुर नगर निगम सहित प्रदेश के सभी निकायों के चुनाव में एक बदलाव यह भी आया है कि इस बार मेयर, सभापति और नगर पालिका अध्यक्ष का चुनाव भी सीधे होगा और जनता उसके लिए भी वोट करेगी। इस तरह अब जनता को पार्षद के साथ ही मेयर के लिए भी वोट देना होगा। कांग्रेस सरकार ने गत भाजपा सरकार के इस फैसलें को बदल दिया है जिसमें मेयर, सभापति और अध्यक्ष का चुूनाव बोर्ड ही करता था। आपकों बता दें कि इससे पहले 2009 में कांग्रेस सरकार ने ही इनके सीधे चुनाव कराने की व्यवस्था की थी और अब पुन: इसे लागू कर दिया है।
सरकार ने जयपुर नगर निगम के वार्ड और पार्षदों की संख्या तो बढ़ा दी है और दावा भी किया जा रहा है कि इससे शहर की सफाई और अन्य व्यवस्था में सुधार होगा लेकिन देखने वाली बात यह होगी कि जयपुर नगर निगम के नए बनने वाले जनप्रतिनिधि शहर को कितना स्मार्ट बना पातें है।