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40 फीसदी पानी हो रहा ‘लीकेज’, लाखों का नुकसान

locationजयपुरPublished: Feb 18, 2021 10:52:41 pm

Submitted by:

Girraj Sharma

बीसलपुर से आ रहे पानी (Bisalpur water) का 40 फीसदी ‘लीेकेज’ में जा रहा है। जलदाय विभाग (Water supply department) सिर्फ 60 फीसदी ही पानी का हिसाब रख पा रहा है। 40 फीसदी पानी का विभाग के पास कोई हिसाब नहीं है, यह पानी यूं ही बर्बाद हो रहा है। इससे जलदाय विभाग को लाखों रुपए का नुकसान हो रहा है। हालांकि अब जलदाय विभाग ने स्मार्ट मीटर (Smart meter) लगाने की कवायद की है।

40 फीसदी पानी हो रहा 'लीकेज', लाखों का नुकसान

40 फीसदी पानी हो रहा ‘लीकेज’, लाखों का नुकसान

40 फीसदी पानी हो रहा ‘लीकेज’, लाखों का नुकसान
— जलदाय विभाग को कुल पेयजल के सिर्फ 60 फीसदी की ही हो रही आय
— अब स्मार्ट मीटर लगा बचाएंगे ‘लीकेज’, 25 फीसदी तक होगी बचत

जयपुर। बीसलपुर से आ रहे पानी (Bisalpur water) का 40 फीसदी ‘लीेकेज’ में जा रहा है। जलदाय विभाग (Water supply department) सिर्फ 60 फीसदी ही पानी का हिसाब रख पा रहा है। 40 फीसदी पानी का विभाग के पास कोई हिसाब नहीं है, यह पानी यूं ही बर्बाद हो रहा है। इससे जलदाय विभाग को लाखों रुपए का नुकसान हो रहा है। हालांकि अब जलदाय विभाग ने स्मार्ट मीटर लगाने की कवायद की है। इससे विभाग को 20 से 25 फीसदी रेवन्यू और बढ़ने की उम्मीद है। इसकी शुरुआत जवाहर नगर से की जा रही है, जहां 6 हजार स्मार्ट मीटर (Smart meter) लगाए जाने है।
जलदाय विभाग को हर साल ‘लीकेज’ से करोडों रुपए के राजस्व का नुकसान हो रहा है। हालांकि इस लिकेज को रोकने के लिए नॉन रेवेन्यू वाटर प्रकोष्ठ (नुकसान प्रकोष्ठ) का गठन कर रखा है, इस प्रकोष्ठ की जिम्मेदारी मुख्य अभियंता स्तर के अधिकारी को सौंप रखी है। बड़ी बात यह है कि इसके लिए अलग से बजट रखा जाता है, लेकिन पानी के ‘लीकेज’ को रोकने के लिए कोई खास काम नहीं हुआ है। जलदाय विभाग के अधिकारियों की मानें तो स्मार्ट मीटर लगाने से 20 से 25 फीसदी तक ‘लीकेज’ को रोका जा सकेगा।
यूं हो रहा ‘लीकेज’
बीसलपुर से शहर में आ रहे पानी का 40 फीसदी पानी ‘लीकेज’ हो रहा है, इसमें जर्जर पेयजल लाइनों से पानी निकलने, टंकियों से आॅवरफ्लो होने से बर्बाद होने के साथ बिना मीटर के पानी आपूर्ति होना शामिल है।
कहां कितना फीसदी पानी ‘लीकेज’

जयपुर दक्षिण प्रथम — 36.41 प्रतिशत
जयपुर दक्षिण द्वितीय — 39.79 प्रतिशत
जयपुर उत्तर प्रथम — 41.70 प्रतिशत
जयपुर उत्तर द्वितीय — 50.40 प्रतिशत

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