मंगलवार को एकादशी होने से इसे भौमी एकादशी भी कहते हैं. मंगलवार और एकादशी के इस संयोग पर विष्णुजी के साथ ही हनुमानजी की पूजा भी करना चाहिए. एकादशी पर विष्णुजी की विधिविधान से पूजा की जाती है. इस दिन भगवान विष्णु का लक्ष्मीजी के साथ अभिषेक करें। फल-फूल अर्पित करें, धूप दीप से आरती करें। एकादशी व्रत में अन्न ग्रहण नहीं किया जाता. दिन में एक समय फलाहार कर सकते हैं।
ज्योतिषाचार्य पंडित एम कुमार शर्मा बताते हैं कि सबसे पहले गणेशजी के साथ रिद्धि-सिद्धि की पूजा करें। इसके बाद भगवान विष्णु को पीले वस्त्र चढ़ाकर हलवे का भोग लगाएं। बालगोपाल को माखन-मिश्री का भोग लगाएं। हनुमानजी और श्रीराम की पूजा करें। हनुमान चालीसा का पाठ करें। रात में भगवान विष्णु के सामने दीपक जलाएं। अगले दिन यानी द्वादशी पर किसी ब्राह्मण या जरूरतमंद को दान-दक्षिणा दें।