script11 अक्टूबर को देवगुरु बृ हस्पति का राशि परिवर्तन, राजनीति में होगी भारी उथल-पुथल, इन जातकों के लिए खुलेंगें उन्नति के द्वार | Jupiter Transit in Scorpio from 11 October 2018 - Astrological Effects | Patrika News

11 अक्टूबर को देवगुरु बृ हस्पति का राशि परिवर्तन, राजनीति में होगी भारी उथल-पुथल, इन जातकों के लिए खुलेंगें उन्नति के द्वार

locationजयपुरPublished: Oct 08, 2018 02:45:31 pm

Submitted by:

dinesh

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Jupiter Transit

जयपुर। देवगुरु बृहस्पति (Jupiter Transit) 11 अक्टूबर को शाम 7:21 बजे तुला राशि को छोडकऱ ग्रह मंगल की वृश्चिक राशि में प्रवेश करेंगे। ऐसे में यह माना जा रहा है कि देवगुरु का यह राशि परिवर्तन कई जातकों के लिए उन्नति के द्वार खोलेगा। राशि परिवर्तन के समय चंद्रमा विशाखा नक्षत्र में रहेगा, जो कि बृहस्पति का ही नक्षत्र है। गुरु आगमन काल से ही मजबूत रहेंगे। फलस्वरूप जिन जातकों की जन्मकुंडली में बृहस्पति योगकारी है, वे जीवन के सभी क्षेत्रों में खास मुकाम प्राप्त करेंगे। गुरु को जीवन में उन्नतिकारक माना गया है। ऐसे में इस परिवर्तन के बाद अब अधिकांश राशि के जातकों के लिए यह समय प्रगति का रहेगा। साथ ही लोगों को राहत का भी अनुभव होगा।


राजनीति में उथल पुथल (Rajasthan Assembly Election 2018 )
वहीं बृहस्पति का राशि परिवर्तन राजनीति में भी उथल पुथल लाएगा। लोगों के दृष्टिकोण राजनीतिक में परिवर्तन आएगी। राजनीति में अस्थिरता बनेगी और कई प्रदेशों में सत्ता परिवर्तन योग बनाएगा। ज्योतिषाचार्य पंडित राजकुमार चतुर्वेदी के अनुसार इसके अलावा रुके कार्यों में गति आएगी तथा लाभ व प्रतिष्ठा में वृद्धि होगी। गुरु गोचर वृश्चिक राशि में 11 अक्टूबर से 29 मार्च 2019 तक भ्रमण करते रहेंगे और 29 मार्च को धनु राशि में प्रवेश करेंगे। गुरु 11 अप्रैल को वक्री हो जाएंगे तथा 23 अप्रैल को वक्री होकर गुरु वृश्चिक में प्रवेश करेंगे। इसी राशि में वे 5 नवंबर 2019 तक भ्रमण करते रहेंगे।
राशि परिवर्तन का यह पड़ेगा प्रभाव
ज्योतिषाचार्य पंडित सुरेश शास्त्री के अनुसार नवग्रहों में देव गुरु बृहस्पति को सभी नमन करते हैं, गुरुओं के भी गुरु का जातकों की शिक्षा, विवाह, संतान, भवन वाहन, वाणी, सत्ता, नौकरी पर विशेष प्रभाव रहता है। गुरु की अशुभ स्थिति में व्यापार में हानि विलंब से विवाह के योग के साथ शुगर, थॉयराइड, किडनी खराब होने जैसी बीमारियों की भी संभावना होती है।
सत्ता परिवर्तन होने के योग
ज्योतिषियों की माने तो गुरु के काल खंड में वक्रीय तथा मार्गीय गति के कारण व्यापार व्यवसाय की गति बढ़ेगी। बाजार में देव गुरु बृहस्पति का प्रभाव स्पष्ट नजर आएगा। सोने, तांबे में तेजी आएगी। गुरु के मंगल की राशि में परिभ्रमण के दौरान लाल वस्तुओं के कारोबार में तेजी का रुख रहेगा। घी, तेल, सरसों व सोयाबीन में तेजी मंदी का वातावरण रहेगा। सर्वत्र अनुकूल दृष्टि से शुभता का वातावरण रहेगा। मंगल के घर मे गुरु का गोचर जमीन जायजाद, भवन निर्माण व क्रय विक्रय में कुछ जगह तेजी तो कहीं भारी मंदी दिखाई देगी।
यूं करें गुरु को प्रसन्न
सभी राशियों के जातकों को गुरु की प्रसन्नता के लिए बृहस्पति स्तोत्र का पाठ करना चाहिए। बृहस्पति के वैदिक मंत्रों का जप तथा बृहस्पति या शिव मंदिर में प्रत्येक गुरुवार को गुड़, चना दाल, हल्दी की गांठ तथा पीले पुष्प या केसर अर्पित करना चाहिए। माता-पिता और गुरु की सेवा करें। गाय को बेसन से बनी या हल्दी मिली गुड़ के साथ रोटी खिलानी चाहिए।
राशिगत प्रभाव
ज्योतिष के जानकारों के अनुसार गुरु के राशि परिवर्तन से जातकों पर राशिगत प्रभाव पड़ेगा।
मेष : शुभ कार्यों में कुछ अवरोध के बाद सफलता दिलाएगा।
वृषभ : कार्य में प्रगति, रुके काम शुरू होंगे।
मिथुन : रोग उत्पन्न करेगा, धन आगमन होगा।
कर्क : उत्तम स्वास्थ्य, भाग्योन्नति होगी।
सिंह : खर्च बढ़ाएगा, पदोन्नति होगी।
कन्या : आकस्मिक लाभ की संभावना बनेगी।
तुला : ऋण उतरेगा, अन्य कार्य की रूपरेखा बनेगी।
वृश्चिक : धन सम्पति, राजयोग बनेगा।
धनु : खर्च कराएगा, आध्यात्म में रुचि बढ़ेगी।
मकर : धनलाभ व प्रतिष्ठा में वृद्धि होगी।
कुंभ : विदेश यात्रा का योग, नए व्यवसाय की शुरुआत होगी।
मीन : जीवन में आ रही समस्याओं का समाधान होगा।

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