ड्यूटी के साथ मनाई गणगौर
कोरोना वायरस के संक्रमण के कारण फि लहाल लोगों की सुरक्षा करना सबसे बड़ी ड्यूटी है। इस काम में चौबीस घंटे पुलिस फ ोर्स जुटी हुई है। ड्यूटी के कारण पहले भी कई बार करवा चौथ के व्रत वीडियो कॉल कर खोले हैं। इस बार भी गणगौर की पूजा वीडियो कॉल के माध्यम से की हैं। वैसे भी गणगौर माता की पूजा-अर्चना परिवार की सुख-शांति और रक्षा को लेकर की जाती है। ऐसे में कोरोना के संकट से बचने के लिए जरूरी है कि घर से बाहर नहीं निकलें और घरों में भी सोशल डिस्टेंस बनाएं।
कोरोना वायरस के संक्रमण के कारण फि लहाल लोगों की सुरक्षा करना सबसे बड़ी ड्यूटी है। इस काम में चौबीस घंटे पुलिस फ ोर्स जुटी हुई है। ड्यूटी के कारण पहले भी कई बार करवा चौथ के व्रत वीडियो कॉल कर खोले हैं। इस बार भी गणगौर की पूजा वीडियो कॉल के माध्यम से की हैं। वैसे भी गणगौर माता की पूजा-अर्चना परिवार की सुख-शांति और रक्षा को लेकर की जाती है। ऐसे में कोरोना के संकट से बचने के लिए जरूरी है कि घर से बाहर नहीं निकलें और घरों में भी सोशल डिस्टेंस बनाएं।
सुनीता मीणा, एडिशनल डीसीपी घर में ही पूजी सोलह दिन की गणगौर
जयपुर में गणगौर पूजा का अलग ही क्रेज है। सुहागिन महिलाएं 16 दिन तक गणगौर माता की पूजा करती हैं। घर-घर में गणगौर के गीत गूंजते हैं। हालांकि इस बार कोरोना वायरस के संक्रमण के चलते ऐसा माहौल नहीं है। फिर भी उत्साह में कोई नहीं है। इस बार घर में ही गणगौर माता को बिठाया है। उनके लिए घर में ही घेवर बनाए हैं। सासू मां के साथ घर में ही गणगौर माता की विधि-विधान से पूजा की हैं। वैसे भी बड़ों का साथ हो तो हर मुश्किल आसान हो जाती है। पीएम नरेंद्र मोदी की अपील को मनाते हुए इस दौरान सोशल डिस्टेंस का भी विशेष ध्यान रखा है।
जयपुर में गणगौर पूजा का अलग ही क्रेज है। सुहागिन महिलाएं 16 दिन तक गणगौर माता की पूजा करती हैं। घर-घर में गणगौर के गीत गूंजते हैं। हालांकि इस बार कोरोना वायरस के संक्रमण के चलते ऐसा माहौल नहीं है। फिर भी उत्साह में कोई नहीं है। इस बार घर में ही गणगौर माता को बिठाया है। उनके लिए घर में ही घेवर बनाए हैं। सासू मां के साथ घर में ही गणगौर माता की विधि-विधान से पूजा की हैं। वैसे भी बड़ों का साथ हो तो हर मुश्किल आसान हो जाती है। पीएम नरेंद्र मोदी की अपील को मनाते हुए इस दौरान सोशल डिस्टेंस का भी विशेष ध्यान रखा है।
सु रभि गुप्ता, एस्ट्रोलोजिस्ट मरीजों की सेवा ही सबसे बढ़ी पूजा
कोरोना वायरस के संक्रमण के चलते अस्पतालों की हालत खराब है। लोग कोरोना वायरस से डर के मारे अस्पतालों में पहुंच रहे हैं। ऐसे में डॉक्टर होने के नाते मरीजों की सेवा ही सबसे बडी पूजा है। हर साल तो पडोस में जाकर गणगौर माता की पूजा करती हूं, लेकिन इस बार घर में ही सासू मां के साथ जल्दी उठकर पूजा कर ली। वैसे भी इस बार सोशल डिस्टेंस रखना ज्यादा जरूरी है।
कोरोना वायरस के संक्रमण के चलते अस्पतालों की हालत खराब है। लोग कोरोना वायरस से डर के मारे अस्पतालों में पहुंच रहे हैं। ऐसे में डॉक्टर होने के नाते मरीजों की सेवा ही सबसे बडी पूजा है। हर साल तो पडोस में जाकर गणगौर माता की पूजा करती हूं, लेकिन इस बार घर में ही सासू मां के साथ जल्दी उठकर पूजा कर ली। वैसे भी इस बार सोशल डिस्टेंस रखना ज्यादा जरूरी है।
डॉ. कविता सिंघल, गायनिक कोरोना का संहार करने की कामना की गणगौर की पूजा में वैसे तो एक ही जगह परिवार की सभी महिलाएं शामिल होती हैंए तभी अच्छा लगता है। इस बार कोरोना के डर के चलते सभी ने अपने-अपने घर में ही पूजा की। सभी ने मां से कोरोना का संहार कर सभी को निरोगी रखने की प्रार्थना की। मेडिकल फ ील्ड से जुड़ी होने कारण पूजा के दौरान पूरी सतर्कता और सावधानी बरती गई। सोशल डिस्टेंस के साथ-साथ सेनेटाइजर एवं मास्क लगाने का भी ध्यान रखा।
सरिता, काउंसलर, सांगानेरी गेट अस्पताल
सरिता, काउंसलर, सांगानेरी गेट अस्पताल
पत्रिका की अपील का दिखा असर महिलाओं ने कोरोना वायरस के संक्रमण के चलते सामाजिक दूरियां बनाते हुए इस साल गणगौर की पूजा को सामूहिक रूप से नहीं कर अपने घरों में ही गणगौर पूजन किया। गौरतलब है कि पत्रिका ने महिलाओं से घर में ही गणगौर पूजने की अपील की है।