खाचरियावास ने कहा कि सेन्ट्रल मोटर व्हीकल एक्ट अभी तक सिर्फ 8 राज्यों में लागू हुआ है। केन्द्र सरकार को उन लोगों का दर्द समझना पड़ेगा, जो इतनी अधिक पेनल्टी नहीं दे सकते। मोटर साईकिल, कार और ट्रक की कीमत से ज्यादा मोटर व्हीकल एक्ट की जुर्माना राशि रखी गई हैं। इससे ट्रेफिक पुलिस या फिर उड़न दस्तों को देखकर ही वाहन लेकर लोग भागेंगे तो उससे सड़क दुर्घटनाएं अधिक होंगी।
खाचरियावास ने केंद्रीय परिवहन मंत्री नितिन गडकरी से अपील की कि जनता की आवाज को समझकर आपको मोटर व्हीकल एक्ट पर पुनर्विचार करना चाहिए। खाचरियावास ने कहा कि वन नेशनन-वन टैक्स की केन्द्र सरकार की पॉलिसी पर कहा कि ये भी बिल्कुल गलत है।
इससे राज्यों के टैक्स के अधिकार कम हो जाएंगे, केन्द्र सरकार राज्यों के बकाया टैक्स पहले ही अदा नहीं कर रही है, इसलिए वन नेशन-वन टैक्स पॉलिसी से राज्यों को भारी नुकसान हो जाएगा। खाचरियावास ने कहा कि केन्द्र सरकार को ग्रामीण परिवहन सेवा के लिए और परिवहन सेवाओं को मजबूत करने के लिए आर्थिक सहायता उपलब्ध करानी चाहिए। हमें विश्वास है कि केन्द्र सरकार कोई भी पॉलिसी बनाने से पहले हमें विश्वास में लेकर काम करेगी।
परिवहन मंत्री ने कहा कि सड़क दुर्घटनाओं को रोकने के लिए राजस्थान की 50 हजार पंचायतों में 5 लाख सड़क सुरक्षा अग्रदूत बनाए जा रहे हैं और प्रदूषण को मिटाने के लिए राजस्थान में हर माह की पहली तरीख को परिवहन विभाग में नो व्हीकल डे लागू किया गया है।गौरतलब है कि आज रोड सेफ्टी काउंसिल की दिल्ली में हुई बैठक में सभी राज्यों के परिवहन मंत्रियों ने अपने-अपने सुझाव केंद्रीय परिवहन मंत्री नितिन गड़करी के समक्ष रखे।