जयपुर

ब्रजभाषा कवि सम्मेलन में होली की धूम: ‘ऐसौ रंग बरसइयो जैसे रंग बरसे बरसाने में’

कवि सम्मेलन ‘रंगीलो रंग डारि गयौ री’ का आयोजन

जयपुरApr 09, 2019 / 02:21 am

abdul bari

ब्रजभाजा कवि सम्मेलन में होली की धूम: ‘ऐसौ रंग बरसइयो जैसे रंग बरसे बरसाने में’

जयपुर
लोहागढ़ विकास परिषद की ओर से शनिवार को चैम्बर भवन में कवि सम्मेलन ‘रंगीलो रंग डारि गयौ री’ का आयोजन किया गया। जिसमें जाने माने कवियों के अलावा प्रदेश के ख्यातनाम लोगों ने शिरकत की। राजस्थान ब्रजभाषा अकादमी के संस्थापक अध्यक्ष डॉ विष्णु चन्द्र पाठक की स्मृति को समर्पित इस कार्यक्रम में कवियों ने अपनी रचनाओं से माहौल को सतरंगी बना दिया। कवि भूपेन्द्र भरतपुरी ने अपनी रचना में रंग और अबीर पर रचना पेश कर वाहवाही पाई तो दूसरी ओर सुनहरी लाल ‘तुरंत’ ने होली के साथ-साथ मानवीय स्वभाव और सुख पर जमकर कटाक्ष किया।
 

इन रचनाओं ने लूटी वाहवाही

कंजूसी मत करियौ प्यारे अपने रंग बरसाने में,
ऐसौ रंग बरसईयो जैसे रंग बरसाने में,
ऐसौ रंग लगइयो प्यारे छूटै नांय छुड़ाने में।
ऐसौ रंग बरसइयो जैसे रंग बरसे बरसाने में।
… सुनहरी लाल ‘तुरंत’
 


रंग और अबीर रोरी सिसक रही है क्योरी
आज होरी मांहि गोरी कोरी कोरी रह गई
फागुन में फगुनौरी प्यास दे गयौ।
संदेशौ सपने में खास दे गयौ। एक नई जीवै की आस दै गयो।
… भूपेन्द्र भरतपुरी
 

 

घूंघट की पट में मुसकाय गई सरमाय गुवालिनी गोरी
छैल कही चल सांकरि खोर उहां मन चाहत खेलिहें
घेर लये सिग ग्वाल गुपाल सुअंग लगावत चंदन रोरी।
अंग सन्यो घनश्याम रंग समाय गयौ हिय में बरजोरी।
…… विटठ्ल पारीक

कहावत है लोग वो तो राम के भरोसे है
राम के भरोसे पे जीवे बारे कम है
क्लब में बार में जाम रस पी रहे
राम नाम रस तै पीवै बारे कम है।
राम के बिना अब राम राज कैसे आवे।
प्रचारी राम नाम के सीने बारे कम हैै।
…कृष्ण पाद दास
 

इनकी रचनाऐं भी रहीं खास
कवि सम्मेलन में मथुरा वल्देव के राधा गोविन्द पाठक की रचना बा ब्रज नारी के भाग… ने कार्यक्रम में होली की रसधरा घोल दी। डॉ सुधा तिवाड़ी की रचना तौये देखूंगी अबकी साल… में होली का नटखट अंदाज देखने को मिला। इसके अलावा वरूण चतुर्वेदी की रचना नव संवत में शांत देस… में देशभक्ति का रंग देखने को मिला।

कार्यक्रम में चैम्बर के मानद सचिव डॉ के एल जैन, नगर निगम आयुक्त विजय पाल सिंह, बैंक आॅफ बड़ौदा के क्षेत्रीय प्रमुख प्रकाश चन्द बापना, विरिल सक्सेना आदि शरीक हुए। इस मौके पर अतिथियों ने ब्रजभाषा के माधुर्य एवं लालित्य की मुक्त कंठ से सराहना करते हुए अन्य भाषाओं के शब्दों को अपनाने पर जोर दिया। कार्यक्रम में डॉ विष्णु चन्द्र पाठक के पुत्र डॉ मनु शरद पाठक और डॉ शचि पाठक सहित कई लोगों ने राधा कृष्ण स्वरूप में श्रृंगार किया। जुगल स्वरूप का तिलक तारा पाठक ने किया।

इनका हुआ सम्मान
इस दौरान ब्रजभाषा में मंचित नाटक अजब चोर की गजब कहानी के निर्देशक अशोक राही और पिंकसिटी प्रेस क्लब के महासचिव पत्रकार मुकेश चौधरी का सम्मान भी किया गया। परिषद के अध्यक्ष वरिष्ठ पत्रकार गुलाब बत्रा और सचिव डॉ प्रदीप चतुर्वेदी ने परिषद की विभिन्न रचनात्मक गतिविधियों की जानकारी दी। कोषाध्यक्ष गोपाल गुप्ता ने सभी का आभार व्यक्त किया।
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