उन्होंने कहा कि चुनाव के दौरान पांच से 7 जिलों में जाने का मौका मिला। सभी जगह कार्यकर्ताओं ने काम नहीं होने की शिकायतें की। उन्होंने हार के कारणों पर भी मंथन की मांग की है। कहा कि हार पर चिंतन, मनन, मंथन और विश्लेषण होना चाहिए। जिससे करारी हार के कारणों का पता लग सके और जिम्मेदारी तय की जा सके।
सहकारिता मंत्री बोले हार पर मंथन होसहकारिता मंत्री उदयलाल आंजना (
udailal anjana ) ने भी पार्टी की चुनावों में हुई करारी हार के कारणों की जांच और मंथन की मांग की है। उन्होंने अपने इस्तीफे देने की चर्चाओं को लेकर कहा कि वे इस्तीफा क्यों देंगे। जनता के बीच रहकर काम करेंगे।
मालवीय नगर की विधानसभा में कामकाज की हो पहले जांच: ज्योति मंत्रियों के इस्तीफे और बयानों के बीच जयपुर लोकसभा प्रत्याशी ज्योति खंडेलवाल (
jyoti khandelwal ) भी कूद पड़ीं। उन्होंने कहा कि जयपुर में कांग्रेस नेताओं ने उन्हें जिताने को लेकर काम नहीं किया। जयपुर में मोदी फेक्टर ने काम नहीं किया। यदि मोदी फेक्टर होता तो उन्हें पिछली बार के मुकाबले 1.70 लाख मत ज्यादा नहीं मिलते। उन्होंने अपनी हार की वजह स्थानीय नेताओं के पार्टी के लिए काम नहीं करने की बात कही है। ज्योति ने मांग ही है कि सबसे पहले पायलट प्रोजेक्ट के रूप में मालवीय नगर विधानसभा क्षेत्र की जांच कराई जाए। नेताओं ने काम किया या नहीं और भाजपा के लोगों की मदद चुनाव में की। इसके लिए कॉल डिटेल्स की भी जांच कराई जाए। वैसे उनका कहना था कि मतदान खत्म होते ही उन्होंने जांच को लेकर केन्द्रीय नेतृत्व को पत्र लिख दिया था। जिसमें और भी विधानसभा क्षेत्रों के नेताओं के काम की जांच की मांग की गई है।