इस बीच स्वराज ने पाकिस्तान (
Pakistan ) के दबाव को लेकर मोदी सरकार और कांग्रेस शासन काल की तुलना कर दी। कहा— वर्ष 1969 में ऑर्गेनाइजेशन ऑफ इस्लामिक कंट्रीज (ओआईसी) के सम्मेलन में पाकिस्तान के दबाव में भारत को शामिल नहीं होने दिया गया और हमें अपमानित होकर लौटना पड़ा। लेकिन 2019 में उसी ओआईसी के स्वर्ण जयंती सम्मेलन में भारत मंचासीन रहा और पाकिस्तान गायब। एयर स्टाइ्रक (
air strike ) के दो दिन बाद हुए इस सम्मेलन में पाकिस्तान ने भारत को शामिल होने पर आपत्ति जताई लेकिन यूएई के विदेश मंत्री ने दो टूक कह दिया आपको आना है तो आइए, भारत तो सम्मेलन में भगीदारी निभाएगा। यही है भारत का सम्मान और स्वाभिमान। उन्होंने मोदी सरकार की कई उपलब्धियां गिनाते हुए महिलाओं से घर—घर पहुंचाने का आहृवान किया।
स्वराज ने कहा मोदी जब सत्ता में आने वाले थे तब विदेश नीति के विश्लेषकों ने कई आर्टिकल लिखे थे। इसमें लिखा था कि मोदी सत्ता में आए तो अरब देश भारतीय विदेश नीति के नक्शे से गायब हो जाएंगे, लेकिन तीन बड़े अरब देशों ने ही मोदी को अपने सर्वोच्च सम्मान से नवाजा। इससे पहले राज्य महिला आयोग की पूर्व अध्यक्ष सुमन शर्मा, महिला मोर्चा की प्रदेशाध्यक्ष मधु शर्मा ने स्वराज का स्वागत किया।
मौका था लेकिन नहीं कर पाए, अब पाकिस्तान अलग—थलग.. विदेश मंत्री ने कहा वर्ष 2008 में मुम्बई में देश का सबसे बड़ा आतंकी हमला हुआ। उसमें विदेशी नागरिक भी मारे गए। उस समय तत्कालीन यूपीए सरकार के पास मौका था कि वह पाकिस्तान को अलग-थलग कर दे, लेकिन तब की सरकार ने ऐसा नहीं किया। हमारे समय जब उरी हमला हुआ तो सर्जिकल स्ट्राइक की, पुलवामा हमला हुआ तो एयर स्ट्राइक और अब मसूद अजहर को अन्तरराष्ट्रीय आतंकी घोषित कराया। इन सभी घटनाओं ने पाकिस्तान को दुनिया में अलग-थलग कर दिया है।
खचाखच भरा सभागार स्वराज ने महिला कार्यकर्ताओं का आह्वान करते हुए नारे लगवाए..अब की बार, 400 पार। एक मजबूत सरकार की देशहित में बड़े फैसले ले सकती है, इसलिए इसलिए चार सौ से ज्यादा सीट जीतने के लक्ष्य के लिए कार्यकर्ताओं को जुट जाना चाहिए। कार्यक्रम के दौरान सभागार महिलाओं से खचाखच भरा रहा। कई महिलाओं तो नीचे बैठना पड़ा।