इस आयोजन में मुख्य रुप से आर्या कॉलेज एंड ग्रुप, पोद्दार कॉलेज, खंडेलवाल कॉलेज, IIS यूनिवर्सिटी, महाराजा कॉलेज, श्री बालाजी टेक्निकल कैंपस, RIET के अलावा अन्य कई कॉलेजों ने भाग लिया। तो वहीं इस अवसर पर 3 राउंड्स में किए गए इंडस्ट्री एक्सपर्ट द्वारा मूल्यांकन के बाद 5 स्टार्टअप आइडियाज को अवार्ड के लिए चुना गया, जिनमे से इन्दर जीत सैनी, प्रदीप महल, पप्पू राम, मदन और सुमन सैनी को विजेता घोषित किया गया। जबकि पल्लवी गुप्ता, ऋतू धाबाई को उपविजेता टीम घोषित किया गया।
विजेता और उपविजेता दोनों टीम को राजस्थान के माननीय खनन मंत्री सुरेंद्रपाल सिंह टीटी और महर्षि अरविन्द संस्थान के निदेशक डॉ.भारत पराशर के साथ होराइजन कंपनी के मार्केटिंग हेड सुमित आहूजा ने प्रमाण-पत्र और शील्ड देकर सम्मानित किया। इस अवसर पर मुख्य अतिथि के तौर पर आए खनन मंत्री सुरेंद्रपाल सिंह टीटी ने कहा कि उनका मकसद देश के युवा वर्ग की सोच को समझना, उनकी क्षमताओं से अवगत कराना साथ ही उनके सुझाओं को सही तरह से अमल करना है। जबकि अवार्ड सैरैमोनी की प्रमुख पार्टनर होराइजन एप्लीकेशन सॉफ्टवेयर के सुमित आहूजा ने विजेता टीम के लिए स्टार्टअप सपोर्ट के लिए 5 लाख तक की वित्तीय मदद का भरोसा दिलाया।
संस्था के निदेशक डॉ. भारत पराशर ने इस सेरेमनी के दौरान छात्रों के साथ आईटी क्षेत्र के अपने अनुभवों को साझा किए और डिजिटल इंडिया के अंतर्गत सरकार की और से चलाई गई विभिन्न योजनाओ के बारे में चर्चा की। तो वहीं छात्र-छात्राओं ने विभिन्न प्रोजेक्ट बनाए और कार्यक्रम में चल रहे विचार विमर्श में खास रूचि दिखाते हुए आईटी क्षेत्र से जुड़े कई विषयो पर काफी सवाल जवाब भी किए। इस दौरान संस्था के निदेशक भारत पराशर ने छात्रों को समाज के हित के लिए मोटीवेट करते हुए बताया कि अरविन्द संस्थान ने रिसर्च एवं इनोवेशन के लिए 2005 में एम.एस.आर.डी.सी नामक लैब की स्थापना की थी जो अब तक 8 बार आईबीएम जीत चुकी है। साथ ही उन्होंने बताया कि इस लैब में राजस्थान तकनीकी विश्वविद्यालय से 5 स्टूडेंट्स पीएचडी भी कर रहे है।