ज्योतिषाचार्य पंडित सोमेश परसाई बताते हैं कि इस दिन प्रातः जल्दी उठकर स्नान करके शुद्ध हो जाएं। सुबह सूर्योदय के समय भगवान सूर्य को जल अर्पित करें। फिर मां दुर्गा का स्मरण करते हुए व्रत और पूजा का संकल्प लें। इसके बाद विधि विधान से दुर्गा माता की पूजा करें। पूजन स्थल पर लकड़ी की चौकी पर लाल वस्त्र बिछाकर इस पर माँ दुर्गा की प्रतिमा या तस्वीर को स्थापित करें।
मां दुर्गा के समक्ष घी का दीपक जलाएं और उन्हें अक्षत, सिन्दूर और लाल पुष्प अर्पित करें। मौसमी फल और मिठाई अर्पित करने के बाद माता दुुुर्गा की आरती उतारें। पूजन संपन्न होने पर दुर्गाजी के समक्ष अपने मनोरथ व्यक्त कर उन्हें पूर्ण करने की प्रार्थना करें। इस दिन दुुर्गा चालीसा या दुर्गा सप्तशती का पाठ जरूर करना चाहिए। दुर्गा सप्तशती पाठ से मां दुर्गा प्रसन्न होती हैं।
इन दिनों माघ गुप्त नवरात्रि भी चल रही है. ऐसे में मासिक दुर्गाष्टमी का महत्व ज्यादा हो गया है. खास बात यह है कि शनिवार को अनेक अन्य ज्योतिषीय योग भी बने हैं. ज्योतिषाचार्य पंडित जीके मिश्र बताते हैं कि शनिवार को रोहिणी नक्षत्र होने से श्रीवत्स नामक शुभ योग बन रहा है। इसके अलावा आज अमृतसिद्धि और सर्वार्थसिद्धि शुभ योग भी बन रहे हैं।
माघ शुक्ल पक्ष अष्टमी मासिक दुर्गाष्टमी पूजा मुहूर्त
माघ शुक्ल पक्ष अष्टमी प्रारंभ- 19 फरवरी 2021 दिन शुक्रवार सुबह 10 बजकर 58 मिनट से
माघ शुक्ल पक्ष अष्टमी समापन- 20 फरवरी 2021 दिन शनिवार दोपहर 01 बजकर 31 मिनट पर
मासिक दुर्गा अष्टमी मनाई जाएगी— 20 फरवरी को
माघ शुक्ल पक्ष अष्टमी प्रारंभ- 19 फरवरी 2021 दिन शुक्रवार सुबह 10 बजकर 58 मिनट से
माघ शुक्ल पक्ष अष्टमी समापन- 20 फरवरी 2021 दिन शनिवार दोपहर 01 बजकर 31 मिनट पर
मासिक दुर्गा अष्टमी मनाई जाएगी— 20 फरवरी को