इस साल मिले थे 8241 आवेदन
राजस्थान राज्य हज कमेटी के मुताबिक वर्ष-2020 की यात्रा के लिए राजस्थान से हज कमेटी को 8241 ऑनलाइन आवेदन प्राप्त हुए थे। इसमें 7631 आवेदकों को जनरल कोटे के तहत हज लॉटरी में शामिल किया गया था। कुर्रा के दौरान 4749 आवेदकों का नंबर लॉटरी के जरिए 610 रिजर्व श्रेणी के लोग भी हज यात्रा पर जाने थे। हालांकि कोरोना के मद्देनजर यात्रा इस बार स्थगित कर दी गई थी। अब फि र से शनिवार से ऑनलाइन आवेदन प्रक्रिया शुरू होगी।
राजस्थान राज्य हज कमेटी के मुताबिक वर्ष-2020 की यात्रा के लिए राजस्थान से हज कमेटी को 8241 ऑनलाइन आवेदन प्राप्त हुए थे। इसमें 7631 आवेदकों को जनरल कोटे के तहत हज लॉटरी में शामिल किया गया था। कुर्रा के दौरान 4749 आवेदकों का नंबर लॉटरी के जरिए 610 रिजर्व श्रेणी के लोग भी हज यात्रा पर जाने थे। हालांकि कोरोना के मद्देनजर यात्रा इस बार स्थगित कर दी गई थी। अब फि र से शनिवार से ऑनलाइन आवेदन प्रक्रिया शुरू होगी।
यह तय किया गया शेड्यूल
केंद्रीय हज कमेटी ऑफ इंडिया के मुख्य कार्यकारी अधिकारी डॉ.मकसूद अहमद खान ने बताया कि इस साल दस दिसंबर तक ऑनलाइन आवेदन लिए जाएंगे। फ रवरी 2021 में हज ट्रेनर का प्रशिक्षण आयोजित होगा। मार्च में प्रतीक्षा सूची जारी होने के बाद अप्रैल में चयनित हाजियों की अंतिम किश्त जमा की जाएगी। 15-16 मई को वैक्सीन कैंप में यात्रियों को वैक्सीन दिया जाएगा। 26 जून 2021 से हज यात्रियों की उड़ानों का सिलसिला शुरू हो जाएगा, जो 13 जुलाई 2021 तक जारी रहेगा। 19 जुलाई 2021 को हज हो जाएगा और 30 जुलाई से 14 अगस्त तक हाजी वापस स्वदेश लौट सकेंगे।
केंद्रीय हज कमेटी ऑफ इंडिया के मुख्य कार्यकारी अधिकारी डॉ.मकसूद अहमद खान ने बताया कि इस साल दस दिसंबर तक ऑनलाइन आवेदन लिए जाएंगे। फ रवरी 2021 में हज ट्रेनर का प्रशिक्षण आयोजित होगा। मार्च में प्रतीक्षा सूची जारी होने के बाद अप्रैल में चयनित हाजियों की अंतिम किश्त जमा की जाएगी। 15-16 मई को वैक्सीन कैंप में यात्रियों को वैक्सीन दिया जाएगा। 26 जून 2021 से हज यात्रियों की उड़ानों का सिलसिला शुरू हो जाएगा, जो 13 जुलाई 2021 तक जारी रहेगा। 19 जुलाई 2021 को हज हो जाएगा और 30 जुलाई से 14 अगस्त तक हाजी वापस स्वदेश लौट सकेंगे।
2100 करोड़ रुपए किए गए वापस केंद्रीय हज कमेटी के अधिकारियों के मुताबिक कोरोना के मद्देनजर अगले साल हज-2021 में हज व्यवस्थाओं में बड़े पैमाने पर बदलाव मुमकिन है। इसमें भारत और सऊदी अरब में रहने, ट्रांसपोर्ट व स्वास्थ्य और अन्य व्यवस्थाएं शामिल हैं। ऐसे में यात्रा का खर्च बढऩा तय है। इस साल देश में हज यात्रा के डिजिटल होने से यह फ ायदा हुआ कि 2020 में हज पर न जा सकने वाले चयनित लोगों को उनके रुपए आसानी से वापस मिल गए। इस साल देशभर से 1 लाख 23 हजार लोगों के 2100 करोड़ रुपए बिना कटौती के डीबीटी के जरिए वापस किए गए।
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आधार कार्ड पैन कार्ड
हजयात्री का बैंक अकाउंट अनिवार्य है ट्रेवेल एजेंसी के जरिए भी कर सकते हैं हजयात्रा।
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