बॉर्डर पर बनाते है गोदाम
जांच में सामने आया कि रामवतार करीब दो साल से गांजा का काम कर रहा है। उत्तरप्रदेश और उडीसा के तस्करों से मांग के अनुसार माल मंगवाकर के उसे राजस्थान—उत्तरप्रदेश के बॉर्डर इलाके में सूनसन जगहों पर छीपा देते थे। मांग आने पर अपनी कार में माल रखकर के हाईवे पर सूनसान जगहों पर रुककर के ग्राहक की गाड़ी में रखवाते थे। यह मुख्य रूप से जयपुर, दौसा, अलवर, भरतपुर, करौली और सवाईमाधोपुर में सप्लाई कर रहे थे।
आपस में रिश्तेदार है आरोपी
मुख्य सप्लायर रामवतार का भरतपुर में ससुराल है। अपने अपने साले भूपेन्द्र के साथ मिलकर के राजस्थान में सप्लाई कर रहा था। पुलिस के डर से कभी राजस्थान तो कभी यूपी में ठिकाना बदल लेते थे। 13 जून को भी बस्सी में पकड़े गए 51 किलो गांजा तस्करी में भी सप्लायर के रूप में रामवतार का नाम सामने आया था।
मुख्य सप्लायर रामवतार का भरतपुर में ससुराल है। अपने अपने साले भूपेन्द्र के साथ मिलकर के राजस्थान में सप्लाई कर रहा था। पुलिस के डर से कभी राजस्थान तो कभी यूपी में ठिकाना बदल लेते थे। 13 जून को भी बस्सी में पकड़े गए 51 किलो गांजा तस्करी में भी सप्लायर के रूप में रामवतार का नाम सामने आया था।
दोस्त बनाकर करवाती तस्करी
शनिवार को बस्सी में पकड़े गए पांच आरोपियों में से महिला तस्कर पंचमूखी उर्फ इंद्रा चाकसू में भी एक प्रकरण में वांछित है। इंद्रा और सुरज दोनों बहन—भाई है। वह हाई प्रोफाइल रहन—सहन कर रही है। कई साल पहले अपने पति के साथ तस्करी कर रही थी। दोनों के बीच अनबन होने से अलग हो गए और अब पढ़ाई करने वाले लड़कों व युवाओं से दोस्ती कर उन्हें साथ लेकर भरतपुर, यूपी से माल लेकर आती थी। जयपुर में स्वयं ही उक्त माल को डिलीवर करती थी।
शनिवार को बस्सी में पकड़े गए पांच आरोपियों में से महिला तस्कर पंचमूखी उर्फ इंद्रा चाकसू में भी एक प्रकरण में वांछित है। इंद्रा और सुरज दोनों बहन—भाई है। वह हाई प्रोफाइल रहन—सहन कर रही है। कई साल पहले अपने पति के साथ तस्करी कर रही थी। दोनों के बीच अनबन होने से अलग हो गए और अब पढ़ाई करने वाले लड़कों व युवाओं से दोस्ती कर उन्हें साथ लेकर भरतपुर, यूपी से माल लेकर आती थी। जयपुर में स्वयं ही उक्त माल को डिलीवर करती थी।