scriptबिजली सेक्टर की समस्याएं हुई विकराल | Power sector problems are difficult | Patrika News

बिजली सेक्टर की समस्याएं हुई विकराल

locationजयपुरPublished: Nov 12, 2019 07:13:55 pm

नई दिल्ली। पहले से फंसे कर्जे, बिजली ( electricity ) चोरी की समस्या से जूझ रहे देश के बिजली सेक्टर ( power sector ) की समस्याएं विकराल होती जा रही हैं। अर्थव्यवस्था ( economy ) की सुस्ती से बिजली की मांग में बड़ी कमी आने लगी है। ऐसे में देश के बिजली उत्पादन ( power generation ) संयंत्रों ने भी अपने उत्पादन ( production ) में भारी कटौती ( cutting ) शुरू कर दी है। देश के केंद्रशासित प्रदेशों समेत 33 राज्यों में बिजली संयंत्र हैं और अक्टूबर 2019 के लिए जारी आंकड़ों के मुताबिक इनमें से 23 राज्यों मे

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बिजली सेक्टर की समस्याएं हुई विकराल

स्थिति की गंभीरता इस बात से समझी जा सकती है कि दिल्ली, पंजाब, राजस्थान, कर्नाटक, केरल जैसे छह राज्यों में बिजली उत्पादन की कटौती 25 प्रतिशत से ज्यादा है। पूरे देश में बिजली उत्पादन 12.88 प्रतिशत घटा है। ऐसे में आश्चर्य नहीं कि देश में बिजली की मांग भी 12 प्रतिशत घट गई है। केंद्र सरकार की तरफ से जारी आंकड़ों के मुताबिक अक्टूबर 2019 में बिजली की मांग 9809.3 करोड़ यूनिट रही है, जबकि एक वर्ष पहले यानी अक्टूबर 2018 में मांग 11,145.5 करोड़ यूनिट रही थी।
कुल उत्पादन इस दौरान 11,350.743 करोड़ यूनिट से घटकर 9888.673 करोड़ यूनिट रहा है। इस गिरावट का सबसे अहम कारण औद्योगिक मांग में कमी को ही बताया जा रहा है। ऑटोमोबाइल और देश में औद्योगिक उत्पादन का जो डाटा जारी किया गया है, उससे साफ है कि हर तरह के उद्योग में सुस्ती है। उपभोग के आधार पर विभाजित 23 उद्योगों में से 17 में विकास दर नकारात्मक रही है।
अगर बिजली उत्पादन को क्षेत्रवार विभाजित कर देखें तो उत्तरी क्षेत्र में इसमें 17.36 प्रतिशत, पश्चिमी क्षेत्र में 13.71 प्रतिशत,दक्षिणी क्षेत्र में 14.03 प्रतिशत, पूवरेत्तर क्षेत्र में 2.62 प्रतिशत व पूर्वी क्षेत्र में 5.73 प्रतिशत की गिरावट हुई है। पश्चिमी, दक्षिणी व उत्तरी राज्यों में सबसे ज्यादा बिजली का उत्पादन होता है और औद्योगिकी तौर पर भी ये क्षेत्र सबसे ज्यादा समृद्ध हैं। ऐसे में इन क्षेत्रों में बिजली उत्पादन में भारी गिरावट सुस्ती की ओर इशारा कर रहा है।
राज्यवार आंकड़ों को देखें तो सबसे ज्यादा बिजली पैदा करने वाले राज्य छत्तीसगढ़ में बिजली उत्पादन 20.10 प्रतिशत घटकर 846.401 करोड़ यूनिट रह गया है। दूसरे स्थान के राज्य मध्य प्रदेश में बिजली उत्पादन 15.01 प्रतिशत घटकर 926.33 करोड़ यूनिट रह गया है। समीक्षाधीन अवधि में केरल में बिजली उत्पादन 36.46 प्रतिशत, कर्नाटक में 38.18 प्रतिशत, पंजाब में 32.66 प्रतिशत, दिल्ली में 30.82 प्रतिशत, हरियाणा में 42.66 प्रतिशत कम हुआ है। गुजरात में बिजली उत्पादन 0.33 प्रतिशत बढ़ा है।

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