देवनानी ने कहा कि प्रदेश में लाखों विद्यार्थी ऐसे हैं जो स्कूल नहीं जा पाते हैं। स्टेट ओपन के माध्यम से ये बच्चें पढ़ाई कर रहे हैं। वर्तमान में सवा लाख से ज्यादा विद्यार्थी दसवीं और बारहवी में पढ़ रहे हैं, मगर ये बच्चे विभाग की अनदेखी का शिकार हो रहे हैं। दो महीने में परीक्षा होनी है लेकिन पाठ्यपुस्तकें नहीं मिल पाई, ऐसे में बच्चे क्या पढ़ेंगे। अमूमन दिसंबर तक पुस्तकें मिल जाती है, लेकिन विभाग और सरकार की अकर्मण्यता के कारण अभी तक टेंडर अटके पड़े हैं। उन्होंने सरकार से इन बच्चों को जल्द से जल्द पुस्तकें उपलब्ध कराने के साथ इस काम में देरी के जिम्मेदारों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की। उधर, सूरतगढ़ विधायक राम प्रताप कासनियां ने सूरतगढ़ को जिला बनाने की मांग की।
शून्यकाल में मंत्री सदन से गायब शून्यकाल के दौरान मंगलवार को भी सदन से मंत्री गायब रहे है। जिस समय रोडवेज बसों का मामला उठा तो परिवहन मंत्री सदन में मौजूद नहीं थी। इस पर उपनेता राजेंद्र राठौड़ ने कहा कि शून्यकाल के दौरान मंत्री सदन में मौजूद नहीं है। भगवान इनको सद्बुद्धी दे।