इसी बीच मौसम विभाग ने रविवार को भीलवाड़ा, उदयपुर, चित्तौडग़ढ़़, राजसमंद, बांसवाड़ा, डूंगरपुर, प्रतापगढ़, सिरोही, कोटा , बूंदी, बारां, झालावाड़ , सवाईमाधोपुर, टोंक में भारी बारिश की चेतावनी दी है। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने धौलपुर, प्रतापगढ़ और झालावाड़ में जलभराव वाले स्थानों में तत्काल राहत पहुंचाने के निर्देश दिए हैं। उच्चस्तरीय बैठक में सीएम ने कहा कि प्रभावित क्षेत्रों में एसडीआरएफ सहित अन्य राहत टीमें भेजी जाएं। धौलपुर में प्रभावित लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने की तैयारी रखी जाए।
मध्यप्रदेश में गांधी सागर बांध से राजस्थान की ओर पानी छोड़े जाने से धौलपुर जिले में बाढ़ की स्थिति बनने की आशंका है। मुख्यमंत्री ने करौली और सवाई माधोपुर के प्रभारी सचिवों को भी प्रभावित क्षेत्रों का दौरा कर स्थिति का जायजा लेने के निर्देश दिए। बैठक में आपदा प्रबन्धन एवं राहत मंत्री मास्टर भंवरलाल मे घवाल, मुख्य सचिव डीबी गुप्ता, शासन सचिव जल संसाधन एवं शासन सचिव आपदा प्रबन्धन सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे।
हाड़ौती व वागड़ में मूसलाधार, हालात बिगड़े
प्रतापगढ़: शुक्रवार सुबह 8 बजे से शनिवार शाम 5 बजे तक 16 इंच बारिश, बेड़मा गांव में पुलिया पार करते तीन लोग बह गए। इसमें से एक की मौत हो गई।
बांसवाड़ा: माही बांध के सभी गेट 9 मीटर खोले। दानपुर कस्बे की आधा दर्जन बस्तियों में पानी घुस गया।
धौलपुर: चम्बल में जलस्तर बढऩे के बाद तटवर्ती इलाकों में हाइअलर्ट।
भीलवाड़ा: शाहपुरा दुकानों में पानी घुसा। बेगूं-भीलवाड़ा, मांडलगढ़-भीलवाड़ा, शाहपुरा-बेगूं मार्ग 24 घंटे से अवरुद्ध है।
कोटा: गांधी सागर बांध के सभी 19 गेट खोलकर कर्मचारियों ने गेज रूम छोड़ दिया।
झालावाड़: कालीसिंध बांध के गेट खुलने से नदी का पानी झालावाड़ शहर में भी घुस गया। रविवार सुबह 7 बजे झालावाड़ सिटी फोरलेन पर पानी भर गया।
दिल्ली-मुंबई रेलमार्ग बाधित, लोग परेशान
दिल्ली-मुंबई रेलमार्ग पर नागदा-कोटा रेलखंड में बारिश का पानी ट्रैक पर भरने के बाद शनिवार को रेलमार्ग बाधित रहा। करीब एक लाख यात्रियों को परेशानी उठानी पड़ी। अधिकतम 20 किमी प्रतिघंटे की रफ्तार से ट्रेनें चलाने का कॉशन ऑर्डर जारी किया है।