जयपुर। राजस्थान आवासन मंडल (Rajasthan Housing Board) ने बुधवार को एक ही दिन में 253 सम्पत्तियों को बेच कर 93 करोड़ 24 लाख रूपए का राजस्व अर्जित किया है। मंडल ने सभी के लिए किश्तों में आवास योजना (Installment housing scheme) के तहत 231 आवास बेचकर 48 करोड़ 21 लाख रुपए का राजस्व प्राप्त किया है। वहीं 45 करोड़ 21 लाख रूपए की 22 प्रीमियम सम्पत्तियां भी बेची है।
आवासन आयुक्त पवन अरोड़ा ने बताया कि राजस्थान आवासन मंडल एक ही दिन में अधिकतम राजस्व अर्जन करने का नया रिकाॅर्ड बनाया हैं। इस बुधवार को एक ही दिन में 253 सम्पत्तियों के विक्रय से 93 करोड़ 24 लाख रूपये का राजस्व अर्जित किया है। प्रदेश में 231 आवास बिके, जिससे मंडल को 48 करोड़ 21 लाख रूपए का राजस्व मिला। इसी तरह मंडल की महज 22 सम्पत्तियां 45 करोड़ 21 लाख रूपए में बिक गईं। बुधवार नीलामी उत्सव के तहत सभी के लिए किश्तों में आवास योजना में अभी तक ई-बिड सबमीशन के माध्यम से मंडल की 2026 सम्पत्तियां बिकीं हैं, जिससे मंडल को 331 करोड़ रूपये का राजस्व मिला है। उन्होंने बताया कि इस योजना में जयपुर वृत्त प्रथम में 7 करोड़ 18 लाख रूपए की 44 सम्पत्तियां और जयपुर वृत्त द्वितीय में 27 करोड़ 24 लाख रूपए की 81 सम्पत्तियां बिकीं। इसी तरह जोधपुर वृत्त प्रथम और द्वितीय में 2 करोड़ रूपए की 17 सम्पत्तियां बिकीं। उन्होंने बताया कि कोटा वृत्त में 2 करोड़ 41 लाख रूपए की 18 सम्पत्तियां, बीकानेर वृत्त में 1 करोड़ 16 लाख रूपए की 13 सम्पत्तियां, उदयपुर वृत्त में 2 करोड़ 50 लाख रूपए की 20 सम्पत्तियां और अलवर वृत्त में 5 करोड़ 65 लाख रूपए की 38 सम्पत्तियां बिकीं। उन्होंने बताया कि प्रदेश में 22 प्रीमियम आवासीय और व्यावसायिक सम्पत्तियां को ई-आॅक्शन के माध्यम से बेचा गया। आवासीय सम्पत्तियों में प्रताप नगर की 4 और मानसरोवर की 3 सम्पत्तियां तथा व्यावसायिक सम्पत्तियों में प्रताप नगर की 4 एवं मानसरोवर की 10 सम्पत्तियां बिकीं।
3 गुना कीमत में बिकीं मानसरोवर में 4 दुकानें
मंडल की मानसरोवर योजना में कर्मिशयल बेल्ट में 13 वर्गमीटर की 4 दुकानों का न्यूनतम बिक्री मूल्य 75 हजार रूपये वर्गमीटर रखा गया था, जबकि ये दुकानें 2 लाख 45 हजार रूपये प्रतिवर्गमीटर से लेकर 2 लाख 91 हजार वर्गमीटर तक में बिकीं।
3 गुना कीमत में बिकीं मानसरोवर में 4 दुकानें
मंडल की मानसरोवर योजना में कर्मिशयल बेल्ट में 13 वर्गमीटर की 4 दुकानों का न्यूनतम बिक्री मूल्य 75 हजार रूपये वर्गमीटर रखा गया था, जबकि ये दुकानें 2 लाख 45 हजार रूपये प्रतिवर्गमीटर से लेकर 2 लाख 91 हजार वर्गमीटर तक में बिकीं।