प्रदेश के 700 बांधों में से 496 में बांध भर चुके हैं और जो भी अब अतिरिक्त बारिश होगी वह अन्य बांधों को भरने का काम करेगी। इसका असर फसल से लेकर बिजली उत्पादन तक पर देखने को मिल रहा है। इससे भूजल स्तर में भी सुधार देखने को मिलेगा और कृषि उत्पादन में सुधार होगा।
18 अगस्त को बंगाल की खाड़ी और बांग्लादेश के तट पर एक और नया गहरा कम दबाव का क्षेत्र बन गया है। इसके आगामी 24 घंटों में और तीव्र होकर गहरा अवसाद में परिवर्तित व अगले 2-3 दिनों में उड़ीसाए झारखंड से होकर पश्चिम-उत्तर,पश्चिम दिशा में आगे बढ़ने की प्रबल संभावना है।
इस तंत्र के असर से पूर्वी राजस्थान के कोटा, भरतपुर संभाग के जिलों में 20 अगस्त रात्रि से ही बारिश की गतिविधियों में बढ़ोतरी होगी। 21-22 अगस्त को कोटा,उदयपुर, जयपुर, भरतपुर व अजमेर संभाग के अधिकतर भागों में बारिश व कहीं-कहीं भारी से लेकर अति भारी बारिश होने की संभावना है।
पश्चिमी राजस्थान में अगले 3 दिन केवल छुटपुट स्थानों पर हल्की बारिश होने व अधिकतर भागों में मौसम मुख्यतः शुष्क रहने की संभावना है। जोधपुरए बीकानेर संभाग के जिलों में नए कम दबाव के क्षेत्र के प्रभाव से 21.22 अगस्त से बारिश की गतिविधियों में बढ़ोतरी होगी तथा 22-23 अगस्त को भारी बारिश का तंत्र पुनः सक्रिय होगा।
कृषि मौसम सलाह
बीकानेर, जोधपुर, अजमेर, जयपुर व उदयपुर संभाग के जिलों के किसानों के लिए यह सलाह दी जाती है कि आगामी दो,तीन दिन आसमान खुला रहने व बारिश में कमी रहने से फसलों में कीटनाशक या अन्य रसायन का छिड़काव करने के लिए समय अनुकूल है।