मुख्यमंत्री ने कहा कि ग्रामीण क्षेत्र में केवल उन्हीं धार्मिक स्थलों को खोलने की अनुमति होगी जहां सामान्य दिनों में प्रतिदिन 50 या इससे कम लोग आते हैं। इन स्थलों पर एक समय में सीमित संख्या में लोग उपासना, दर्शन अथवा अन्य धार्मिक कार्यों के लिए मौजूद रह सकेंगे। इस दौरान सोशल डिस्टेंसिंग, सैनिटाइजेशन और मास्क पहनने आदि हेल्थ प्रोटोकॉल सहित भारत सरकार की ओर से धार्मिक स्थलों के लिए जारी एसओपी की पालना की जाए।
गहलोत ने कहा कि दूसरे राज्यों से प्रदेश में आने वाले व्यक्तियों के लिए 14 दिन की होम क्वारेंटाइन अवधि की अनिवार्यता को हटा दिया गया है। लेकिन ऎसे लोग स्वेच्छा से अपनी आवाजाही को सीमित रखें तथा संक्रमण से बचाव के सभी सुरक्षात्मक उपाय अपनाएं एवं लक्षण होने पर अविलम्ब जांच करवाकर चिकित्सकीय परामर्श लें।
जागरूकता अभियान अब 7 जुलाई तक चलेगा मुख्यमंत्री ने 21 से 30 जून तक प्रदेशभर में चलाये जा रहे कोरोना जागरूकता अभियान की अवधि एक सप्ताह तक बढ़ाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि कोरोना संक्रमण से बचाव में जागरूकता के महत्व तथा इस अभियान की सफलता को देखते हुए इस अभियान को 7 जुलाई तक बढ़ाया जाए