जयपुर

शिक्षा के अधिकार में ये कैसी विसंगति, 8 लाख आय वालों को आरक्षण, नि:शुल्क शिक्षा के लिए 1 लाख सीमा

राज्य सरकार ने अब तक नहीं किया कोई बदलाव

जयपुरMar 01, 2019 / 11:33 am

Mridula Sharma

शिक्षा के अधिकार में ये कैसी विसंगति, 8 लाख आय वालों को आरक्षण, नि:शुल्क शिक्षा के लिए 1 लाख सीमा

जयपुर . आठ लाख सालाना आय वाले सवर्ण परिवारों को केंद्र सरकार ने आरक्षण के दायरे में तो ला दिया। लेकिन अभी भी केवल एक लाख सालाना आय वाले परिवारों के बच्चों को ही नि:शुल्क शिक्षा दी जाएगी। राज्य सरकार ने इसमें अभी तक कोई बदलाव नहीं किया है। सत्र 2019-20 के लिए फरवरी माह के दूसरे सप्ताह में प्रवेश प्रक्रिया शुरू हो जाएगी। परिजन इस बार आय सीमा में बढ़ोतरी की उम्मीद कर रहे हैं।
सात साल में तीन बार बदली आय सीमा
आरटीई के तहत प्रवेश प्रक्रिया में पिछले सात वर्षों में तीन बार आय सीमा में परिवर्तन किया जा चुका है। प्रदेश में आरटीई में सत्र 2012-13 में गरीब वर्ग के बच्चों को नि:शुल्क प्रवेश दिए गए। उस समय प्रवेश के लिए आय सीमा ढाई लाख रुपए थी। सत्र 2015-16 तक आय सीमा यहीं रही।
25 फीसदी सीटों पर नि:शुल्क प्रवेश जरूरी
आरटीई के तहत गैर सरकारी स्कूलों को 25 प्रतिशत सीटों पर वंचित व अभावग्रस्त समूहों के बच्चों को नि:शुल्क प्रवेश देना जरूरी है। इसमें अजा-जजा वर्ग के बच्चों के लिए आय सीमा नहीं है।
फैक्ट फाइल
33,091 प्रदेश में नि:शुल्क सीटों के प्रवेश के लिए पात्र स्कूल
28,525 जिनमें नि:शुल्क सीटों पर पढ़ रहे बच्चे

बढ़ाएं आय सीमा
आरटीई में आय सीमा रिवाइज की जानी चाहिए। एक तरफ सरकार आठ लाख आय वालों को आरक्षण दे रही है। दूसरी तरफ शिक्षा के लिए सीमा एक लाख ही है। इसे बढ़ाया जाना चाहिए।
सुशील शर्मा, अभिभावक
रिपोर्ट आने पर करेंगे विचार
अधिकारियों से बात की थी। समीक्षा के लिए कहा है। रिपोर्ट आने पर विचार करेंगे।
गोविंदसिंह, शिक्षा राज्यमंत्री

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