देवनानी ने कहा कि उच्च शिक्षा विभाग में हाल ही में किए गए स्थानांतरण के दौरान कांग्रेस समर्थित शिक्षक गुट ने पहले तो राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ से जुड़े शिक्षकों के नाम स्थानान्तरण सूची में होने का आरोप लगाकर सूची पर रोक लगवा दी तथा बाद में संशोधित सूची जारी कर राष्ट्रीय विचार वाले शिक्षक संगठनों से जुडे़ शिक्षकों को चुन-चुनकर निशाना बनाते हुए बहुत दूर स्थानान्तरित कर दिया गया।
देवनानी ने कहा कि विभिन्न कॉलेजो में ढाई हजार से ज्यादा पद खाली पड़े है, ऐसे में महाविद्यालयों की शैक्षणिक व्यवस्था सुचारू करने के लिए क्षेत्रीय विधायकों की अनुशंषा पर जारी स्थानान्तरण सूची को एक शिक्षक गुट व अन्य राज्य मंत्री के दबाव में रद्ध कर दिया गया, जबकि वर्तमान में 90 प्रतिशत महाविद्यालयों में प्राचार्य नहीं है। कांग्रेस सरकार को स्थानान्तरण की राजनीति छोड़कर शैक्षिक व्यवस्थाओं पर ध्यान देना चाहिए। रिक्त पदों को भरने के साथ ही शिक्षकों की लम्बित पदौन्नतियां शीघ्र करानी चाहिए।